चंडीगढ़। खालिस्तान समर्थक और वारिस पंजाब दे संगठन के चीफ अमृतपाल सिंह और उसके समर्थकों पर पंजाब सरकार और पुलिस ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। पंजाब पुलिस के सूत्रों के मुताबिक अमृतपाल सिंह के साथ सुरक्षा गार्ड के तौर पर तैनात 9 लोगों के हथियारों के लाइसेंस रद्द किए जा सकते हैं। पंजाब पुलिस ने जिला प्रशासन से अमृतपाल के इन समर्थकों के हथियार लाइसेंस के बारे में जानकारी मांगी है। जिसके बाद पुलिस अपनी रिपोर्ट देगी। इस रिपोर्ट के आधार पर जिला प्रशासन की तरफ से अमृतपाल सिंह के इन 9 करीबियों के हथियार लाइसेंस रद्द करने की कार्रवाई की जाएगी।
पंजाब पुलिस के सूत्रों के मुताबिक अमृतपाल सिंह के साथ ये सभी 9 लोग काफी करीबी बनाकर चलते हैं। इनमें से कुछ के पास एक लाइसेंस पर एक से ज्यादा हथियार खरीदने का भी शक है। पुलिस के मुताबिक हथियारों के लाइसेंस इन लोगों को खुद की सुरक्षा के वास्ते दिए गए थे। ये किसी और की सुरक्षा में इन हथियारों का इस्तेमाल नहीं कर सकते। बता दें कि अमृतपाल सिंह अपने हथियारबंद समर्थकों के साथ पिछले दिनों अपने करीबी लवप्रीत सिंह को जेल से रिहा कराने के लिए अजनाला थाने में घुस गया था। वहां उसने अपने समर्थकों के साथ खूब धमकीबाजी की थी। जिसके बाद पंजाब पुलिस ने लवप्रीत सिंह को जेल से रिहा करा दिया था।
अमृतपाल सिंह इस घटना के बाद से मीडिया में खूब इंटरव्यू दे रहा है। उसने खालिस्तान को जरूरी बताया है। उसने ये भी कहा है कि अलग खालिस्तान की मांग नाजायज या गैरकानूनी नहीं है। अमृतपाल ने दो दिन पहले ये भी कहा था कि जिसे उससे दिक्कत हो, वो पंजाब छोड़कर चला जाए। इसके अलावा उसने धमकी के अंदाज में कहा था कि अभी किसी ने हिंसा देखी कहां है। अमृतपाल सिंह के ऐसे ही बयानों के बाद पंजाब के सीएम भगवंत मान बीते दिनों दिल्ली आकर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से भी मिले थे।