नई दिल्ली। दिल्ली में स्थित शनिधाम के संस्थापक दाती महाराज मुश्किल में फंस गए हैं। दिल्ली की साकेत कोर्ट ने दाती महाराज के खिलाफ दुष्कर्म के मामले में आरोप तय करते हुए मुकदमा चलाने की अनुमति दे दी है। अदालत ने दाती महाराज के दो भाइयों अर्जुन और अशोक के खिलाफ भी मुकदमा शुरू करने का आदेश दिया है। दाती महाराज पर उन्हीं की एक शिष्या ने साल 2016 में दुष्कर्म का आरोप लगाया था। शिष्या ने कहा था कि दाती महाराज ने दो बार अलग-अलग मौकों पर उसके साथ रेप किया था। पीड़ित छात्रा ने दाती महाराज के भाइयों समेत 5 लोगों पर उनका साथ देने का आरोप लगाया था।
पीड़िता की तरफ से जून 2018 को दाती महाराज के खिलाफ रेप की शिकायत दर्ज कराई गई थी। पुलिस ने एफआईआर में दाती महाराज के खिलाफ आईपीसी की धारा 376 (दुष्कर्म) और 377 (अप्राकृतिक यौन संबंध), 506 (आपराधिक रूप से धमकाना) के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था। हालांकि दाती महाराज की तरफ से इन आरोपों का पूरी तरह खंडन करते हुए इसे खुद को फंसाने की साजिश बताया था। दिल्ली हाईकोर्ट ने अक्टूबर 2018 में इस केस में की जांच सीबीआई को सौंप दी थी। दरअसल पीड़िता दिल्ली क्राइम ब्रांच की जांच से संतुष्ट नहीं थी और उसने हाईकोर्ट से सीबीआई जांच की मांग की थी।
दिसंबर 2019 में इस केस की सुनवाई फास्ट ट्रैक अदालत में शुरू हुई। इसके बाद फास्ट ट्रैक कोर्ट में मार्च, 2020 से दाती महाराज पर आरोप तय करने के लिए बहस की सुनवाई शुरू हुई। आपको बता दें कि दाती महाराज का असली नाम मदनलाल राजस्थानी है। शुरू में केटरिंग का काम करने वाले मदनलाल ने ज्योतिष विद्या का भी ज्ञान प्राप्त किया। इसके बाद दिल्ली की कैलाश कॉलोनी में एक ज्योतिष केंद्र खोला और अपना नाम बदलकर दाती महाराज रख लिया। इसके बाद शनिधाम की स्थापना की और देश भर में प्रसिद्ध हो गए।