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Rajya Sabha में TMC सांसद ने दिखाई गुंडागर्दी, IT Minister अश्विनी वैष्णव के साथ की ये शर्मनाक हरकत

Rajya Sabha: इस दौरान भाजपा सांसद और टीएमसी सांसद के बीच गहमागहमी भी हो गई। वहीं हंगामे के बाद राज्यसभा शुक्रवार तक के लिए स्थगित कर दी गई है। इधर, टीएमसी सांसद के इस व्यवहार की भाजपा के नेताओं की कड़ी आलोचना की है। भाजपा के राज्यसभा सदस्य स्वप्न दासगुप्ता ने इस मामले को लेकर टीएमसी सांसद शांतनु सेन पर हमला बोला है। 

नई दिल्ली। संसद में मानसून सत्र के चौथे दिन भी जमकर हंगामा देखने को मिला है। जासूसी मामले को लेकर गुरुवार को एक बार फिर विपक्षी दलों ने संसद में जबरदस्त शोर शराबे किया। लेकिन इस दौरान तृणमूल कांग्रेस सांसद शांतनु सेन (TMC MP Shantanu Sen) की दबंगई भी देखने को मिली। दरअसल राज्यसभा में जब आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव (IT Minister Ashwini Vaishnaw) पेगसस मामले पर स्टेटमेंट देने के लिए खड़े हुए थे तो उस वक्त दीदी के सांसद ने गुंडागर्दी पर उतर आए। शांतनु सेन ने आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव के हाथ से स्टेटमेंट का पेपर छीन लिया और उसे फाड़कर उपसभापति की कुर्सी की तरफ फेंक दिया।

इस दौरान भाजपा सांसद और टीएमसी सांसद के बीच गहमागहमी भी हो गई। वहीं हंगामे के बाद राज्यसभा शुक्रवार तक के लिए स्थगित कर दी गई है। इधर, टीएमसी सांसद के इस व्यवहार की भाजपा के नेताओं की कड़ी आलोचना की है।

भाजपा के राज्यसभा सदस्य स्वप्न दासगुप्ता ने इस मामले को लेकर टीएमसी सांसद शांतनु सेन पर जोरदार हमला बोला है।

IT मिनिस्टर ने Pegasus Snooping के कथित मामले पर दिया जवाब

आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने पेगासस स्पाईवेयर (Pegasus Snooping) के जरिए कथित तौर पर फोन कॉल्स की निगरानी की खबरों पर राज्यसभा में जवाब दिया। उन्होंने कहा कि संसद सत्र से पहले इस तरह की खबर सामने लाकर सनसनी फैलाने की कोशिश की गई। अश्विनी वैष्णव ने सदन में भारी शोर शराबे के बीच कहा कि संसद सत्र के एक दिन पहले इस मामले को उछाला जाना महज संयोग नहीं हो सकता। उन्होंने कहा कि पहले भी पेगासस का इस्तेमाल वाट्सएप की निगरानी करने के बारे में दावे किए गए थे। उन दावों का भी इस बार किए गए दावे की तरह कोई आधार नहीं था और सभी पक्षों ने इससे सुप्रीम कोर्ट में भी सुनवाई के दौरान इनकार किया था।

IT Minister Ashwini Vaishnaw

बता दें, कि इससे पहले पेगासस स्पाईवेयर से निगरानी के मामले में खबर देने वाले मीडिया संस्थानों के फरेब का खुलासा इस मामले में फोन की जांच करने वाले अंतरराष्ट्रीय संगठन एमनेस्टी के बयान से हो गया था। एमनेस्टी ने साफ कहा है कि उसने मीडिया संस्थानों को जो रिपोर्ट सौंपी, उसमें उसने कहीं नहीं कहा कि जांच किए गए फोन की निगरानी पेगासस से हुई।