नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के हाथरस (Hathras) कांड में पीड़िता को इंसाफ दिलाने के लिए देशभर में गुस्सा देखने को मिल रहा है। इसी बीच इस मामले में यूपी पुलिस (UP Police) ने बड़ा बयान दिया है। जिसके मुताबिक हाथरस मामले में मृतक लड़की से दुष्कर्म नहीं हुआ था। ये दावा यूपी पुलिस के एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार ने किया है। आगरा में विधि विज्ञान प्रयोगशाला में जांच के बाद ये दावा किया गया है।
प्रशांत कुमार ने कहा कि मामले को अनावश्यक तूल देकर माहौल खराब करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। आगे उन्होंने कहा कि दिल्ली के अस्पताल से हाथरस के केस में प्राप्त पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार पीड़िता की मृत्यु का कारण गले में चोट लगने से होने वाला ट्रॉमा है। यह नहीं, विधि विज्ञान प्रयोगशाला की रिपोर्ट भी प्राप्त हो गई है। इस रिपोर्ट में यह स्पष्ट रूप से बताया गया है कि जो सैंपल एकत्रित किए गए थे, उससे दुष्कर्म की पुष्टि नहीं होती।
एडीजी ने कहा कि कतिपय अराजक तत्वों प्रदेश में गलत तरीके से, जातीय तनाव पैदा करने के लिए माहौल खराब करने की कोशिश की गई। हालांकि पुलिस ने शुरू से इसमें ससमय प्रभावी कार्रवाई की। आगे भी विधिक कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने बताया कि ऐसे लोगों की पहचान की जाएगी जो प्रदेश में सामाजिक सद्भाव और जातीय हिंसा फैलाना चाहते थे। जवाबदेह अधिकारियों के कहने के बावजूद अपने तरीके से चीजों को मीडिया में गलत तथ्यों के आधार पर मोड़ना चाहते थे।
बता दें कि हाथरस कांड को लेकर यूपी सरकार पूरी तरह बैकफुट पर आ गई है। इस मामले पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से बुधवार को चर्चा की थी जिसके बाद प्रदेश सरकार ने तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया जो कि मामले की जांच कर रही है। वहीं, सफदरजंग अस्पताल की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में भी सामूहिक दुष्कर्म की पुष्टि नहीं हुई है।