नई दिल्ली। भारत और चीन के बीच चल रहे तनाव को देखते हुए अमेरिका ने अब भारत का खुलकर साथ देते हुए कुछ ऐसा कहा है जो चीन की बौखलाहट बढ़ा देगा। बता दें कि अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने शुक्रवार को चीन के प्रति चेतावनी देते हुए भारत से घनिष्ठ संबंधों का आग्रह किया है। पोम्पिओ ने भारत, जापान और ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्रियों के साथ हुई बैठक के बारे में कहा कि ‘उन्हें संयुक्त राज्य अमेरिका का अपना सहयोगी और इस लड़ाई में भागीदार बनाने की आवश्यकता है।’ पोम्पिओ का ये बयान चीन के लिए शुभ संकेत नहीं माना जा रहा है। उन्होंने रेडियो जॉकी लैरी ओ’कॉनर को बताया, ‘चीन ने अब उत्तर में भारत के खिलाफ बड़ी ताकतों को इकट्ठा करना शुरू कर दिया है। दुनिया जाग गई है, धारा बदल रही है और राष्ट्रपति ट्रंप के नेतृत्व में अमेरिका ने अब एक गठबंधन बनाया है जो इस खतरे को पीछे ढकेलेगा।
पोम्पियो का कहना है कि चीन अपने नापाक इरादों में कभी भी कामयाब नहीं होगा। बता दें कि चीन से तनाव बावजूद भारत इतिहास में ‘रणनीतिक स्वायत्तता’ के सिद्धांत को अपनाते हुए बाहरी शक्तियों के साथ औपचारिक गठजोड़ से दूर रहा है। चीन के साथ तनाव के बारे में कंजरवेटिव फाउंडेशन से पूछे जाने पर अमेरिका में भारत के राजदूत तरनजीत सिंह संधू ने जोर देकर कहा कि ‘एशियाई शक्तियों के ऐतिहासिक संबंध के कराण दोनों एक-दूसरे के विद्वानों का स्वागत करते थे।
भारत और अमेरिका के संबंधों पर संधू ने कहा कि अमेरिका-भारत के संबंध तेजी से बढ़ रहे हैं और ‘इस संबंध में चीन की तुलना में व्यापक दृष्टिकोण है।’ उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि ‘भारत में पोम्पिओ और एस्पर की यात्रा के दौरान रक्षा संबंधों को बढ़ाने पर चर्चा करेंगे। उन्होंने कहा, ‘मैं इस बात पर जोर दूंगा कि हमारे रक्षा सहयोग में बड़ी क्षमता है।’