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Sawan Sankashti Chaturthi 2023: 6 या 7 कब है सावन संकष्टी चतुर्थी, जानिए क्या है शुभ मुहूर्त और महत्व

Sawan Sankashti Chaturthi 2023: सावन महीने में पड़ने वाली संकष्टी चतुर्थी (Sawan Sankashti Chaturthi) का भी खास महत्व होता है। क्योंकि इस दिन भगवान भोलेनाथ के पुत्र गणेश जी की पूजा और व्रत किया जाता है। इसके अलावा संकष्टी चतुर्थी की रात चंद्रमा की पूजा भी की जाती है।

नई दिल्ली। सावन (Sawan 2023) का महीना बस कुछ ही समय में शुरू होने वाला है। सावन का महीना भगवान शिव को समर्पित होता है। हिन्दू धर्म में सावन के महीने को काफी महत्व दिया जाता है। कहा जाता है कि सावन के महीने में शिवजी की पूजा करना शुभदायी होता है। भोलेनाथ की कृपा पाने के लिए शिव भक्त सावन के हर सोमवार को व्रत भी रखते हैं। सावन महीने में पड़ने वाली संकष्टी चतुर्थी (Sawan Sankashti Chaturthi) का भी खास महत्व होता है। क्योंकि इस दिन भगवान शिव के के पुत्र गणेश जी की पूजा और व्रत किया जाता है। इसके अलावा संकष्टी चतुर्थी की रात चंद्रमा की पूजा भी की जाती है। तो आइए जानते हैं किस दिन है सावन संकष्टी चतुर्थी (Sawan Sankashti Chaturthi 2023), क्या रहेगा शुभ मुहूर्त और पूजा विधि…

Vinayaka Chaturthi 2023

संकष्टी चतुर्थी की तिथि और ये है शुभ मुहूर्त (Sawan Sankashti Chaturthi 2023 Tithi And Shubh Muhurat)

इस साल 2023 में सावन की संकष्टी चतुर्थी अगले महीने जुलाई में 6 तारीख को है। सावन की संकष्टी चतुर्थी की शुरुआत 6 जुलाई को सुबह 6 बजकर 32 सुबह पर शुरू होगी और अगले दिन 7 जुलाई को रात में 3 बजकर 12 मिनट पर ये समाप्त होगी।

Vinayaka Chaturthi 2023

संकष्टी चतुर्थी पर इस तरह करें पूजा (Sankashti Chaturthi 2023 Puja Vidhi)

  • संकष्टी चतुर्थी 2023 के दिन सुबह जल्दी उठें.
  • स्नान आदि के बाद स्वच्छ वस्त्रों को धारण करें.
  • अब हाथ में गंगाजल लेकर व्रत का संकल्प लें.
  • एस चौकी लेकर इसपर साफ कपड़ा बिछाएं और इसपर बप्पा की मूर्ति को बैठाएं.
  • अब गणेश जी का अभिषेक कर चंदन लगाएं.

Sankashti Chaturthi 2023

  • अब 21 दूर्वा, फल-फूल, अक्षत और धूप-दीप से बप्पा की पूजा करें.
  • बप्पा को मोदक का भोग लगाएं और गणेश जी की आरती उतारें.
  • बप्पा को मोदक प्रिय हैं ऐसे में उन्हें भोग में मोदक जरूर चढ़ाएं.
  • अब शाम को चंद्रमा का दर्शन कर अर्घ्य दें.
  • जिन लोगों ने व्रत रखा है वो चंद्रमा को अर्घ्य देने के बाद व्रत का पारण कर लें.

डिस्क्लेमर: ऊपर दिए गए लेख की जानकारी मान्यताओं पर आधारित है। NewsroomPost इस तरह की किसी जानकारी का दावा नहीं करता है।