नई दिल्ली।जैन धर्म का सबसे पवित्र त्यौहार महावीर जयंती देश भर में कल यानी 4 अप्रैल को सेलिब्रेट होना है लेकिन कुछ जगहों आज यानी 3 अप्रैल को महावीर जयंती सेलिब्रेट की गई है। देश भर में शोभा यात्रा निकाली जा रही हैं और कल भी निकाली जाएंगी। महावीर जयंती के मौके पर हम आपको जैन धर्म के पूजनीय भगवान महावीर के बारे में बताएंगे कि कैसे उन्होंने विश्व भर में अध्यात्म का प्रचार किया और कैसे पंचशील सिद्धांत के जरिए लोगों का मार्गदर्शन किया।
कैसे वर्धमान बने महावीर
जैन धर्म के पूजनीय भगवान महावीर का असल नाम वर्धमान था। उनका जन्म बिहार के कुंडलपुर में हुआ था। कहा जाता है कि भगवान महावीर जन्म 599 ईसा पूर्व बिहार के राजघराने में हुआ था। 30 साल की उम्र में सारा सुख और संपत्ति छोड़कर उन्होंने अध्यात्म की राह को चुना था और संन्यास ले लिया था। कहा जाता है कि 12 साल की कठोर तपस्या और मौन व्रत के बाद उन्होंने अपनी सभी इंद्रियों पर विजय प्राप्त कर ली थी। सिद्धि हासिल करने के बाद उन्होंने धर्म का प्रचार-प्रसार किया और पंचशील सिद्धांत भी दिए।
महावीर के पंचशील सिद्धांत
1. सत्य के मार्ग पर चलना
2. अहिंसा का पालन करना
3.चोरी जैसे बुरे कार्यों से दूर रहना
4. किसी भी वस्तु के लिए मोह नहीं रखा
5. ब्रह्मचर्य का पालन करना
महावीर जयंती का समय
इस बार महावीर जयंती 4 अप्रैल को मनाई जाने वाली हैं। महावीर जयंती शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि 03 अप्रैल 2023 से शुरू होकर 04 अप्रैल 2023 तक चलेगी। समय की बात करें तो समय 3 अप्रैल की सुबह 06 बजकर 24 मिनट पर शुरू होगा जोकि 4 अप्रैल की 08 बजकर 05 मिनट तक रहेगा।