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Ban Will Continue To Write Names On Shops In Kanwar Yatra Route : कांवड़ यात्रा मार्ग में दुकानों पर नाम लिखने के आदेश पर जारी रहेगी रोक, सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड और एमपी सरकार से भी मांगा जवाब

Ban Will Continue To Write Names On Shops In Kanwar Yatra Route : यूपी सरकार ने इस मामले में जल्द सुनवाई पूरी करने का आग्रह करते हुए कहा, अन्यथा कांवड़ यात्रा पूरी हो जाएगी। अब सुप्रीम कोर्ट इस पर 5 अगस्त सोमवार को सुनवाई करेगा। यूपी सरकार ने इस मामले में अपना जवाब दाखिल करते हुए इस आदेश को लागू किए जाने की वजह भी बताई।

नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश में कांवड़ यात्रा मार्ग में पड़ने वाली खाद्य पदार्थों की दुकानों में मालिक का नाम लिखने के यूपी सरकार के आदेश पर फिलहाल रोक जारी रहेगी। सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में उत्तराखंड सरकार और मध्य प्रदेश सरकार से भी जवाब मांगा है। यूपी सरकार ने इस मामले में जल्द सुनवाई पूरी करने का आग्रह करते हुए कहा, अन्यथा कांवड़ यात्रा पूरी हो जाएगी। अब सुप्रीम कोर्ट इस पर 5 अगस्त सोमवार को सुनवाई करेगा।

सुप्रीम कोर्ट में आज यूपी सरकार ने इस मामले में अपना जवाब दाखिल करते हुए इस आदेश को लागू किए जाने की वजह भी बताई। यूपी सरकार ने बताया कि कांवड़ यात्रा मार्ग पर पड़ने वाली खाने पीने की दुकानों के नाम को लेकर कई बार गलतफहमी की वजह से झगड़े और तनाव की स्थिति बन जाती है, इसीलिए सामाजिक सौहार्द्र को बनाए रखने के उद्देश्य से यह आदेश लागू किया गया था। यूपी सरकार ने यह आदेश लागू होने के बाद दुकानों की कुछ फोटो भी अदालत में बतौर सबूत पेश की।

इन फोटो के माध्यम से सरकार ने बताया कि इसी आदेश के बाद पता चला कि राजा राम भोज फैमिली टूरिस्ट ढाबा के मालिक का नाम वसीम है। इसी प्रकार पंडित जी वैष्णों ढाबे का मालिक सनव्वर है और राजस्थानी खालसा ढाबे का मालिक फुरकान है। दुकान के इन नामों की वजह से कांवड़िए जो भोले नाथ को जल चढ़ाने के लिए नंगे पैर जाते हैं उनमें भ्रम की स्थिति पैदा हो जाती है वो इन दुकानों पर खाना खा लेते हैं जिससे उनकी भावनाएं आहत होती हैं। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने कहा, कि हमारा आदेश स्पष्ट है कि कोई दुकानदार अपनी मर्जी से अपना नाम अपनी दुकान के बाहर लिखता है तो वो ऐसा कर सकता है लेकिन किसी भी हाल में उसे ऐसा करने के लिए बाध्य नहीं किया जा सकता।