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बिहार : श्याम रजक की घर वापसी, RJD के 3 विधायकों को भाया JDU का ‘तीर’

सोमवार को बिहार के उद्योग मंत्री रहे श्याम रजक (Shyam Rajak) ने 10 वर्ष के बाद अपने पुराने घर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) में वापसी कर ली, वहीं राजद के भी तीन विधायकों ने राजद की ‘लालटेन’ को छोड़कर जदयू का ‘तीर’ थाम लिया।

पटना। बिहार (Bihar) में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने की घोषणा भले ही अभी नहीं हुई है, लेकिन जोड़-तोड़ की सियासी रणनीति शुरू हो गई है। नेता हो या दल, सभी चुनाव से पहले अपने सुरक्षित ‘ठिकाने’ पर पहुंचने के लिए अपना पाला बदलने लगे हैं। इसी कड़ी में सोमवार को बिहार के उद्योग मंत्री रहे श्याम रजक (Shyam Rajak) ने 10 वर्ष के बाद अपने पुराने घर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) में वापसी कर ली, वहीं राजद के भी तीन विधायकों ने राजद की ‘लालटेन’ को छोड़कर जदयू का ‘तीर’ थाम लिया।

Shyam Rajak

पूर्व मंत्री श्याम रजक को तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने पटना में पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के आवास पर राजद की सदस्यता दिलाई। राजद की सदस्यता ग्रहण करने के बाद रजक ने कहा कि उन्होंने सामाजिक न्याय की लड़ाई कभी नहीं छोड़ी है। रजक ने कहा कि आज बड़े-बड़े बयान दिए जाते हैं, लेकिन वास्तव में बिहार में कहीं कोई काम नहीं हुआ है। उन्होंने अपने घर में फिर से वापसी पर खुशी जताते हुए कहा कि बिहार में आज दलितों के साथ धोखा हो रहा है। पूर्व मंत्री ने कहा, “जदयू के पहले मैं राजद में भी मंत्री रहा था। मेरे लिए कभी भी पद मायने नहीं रखता।”

tejashwi and Shyam Rajak

उन्होंने जदयू से निष्कासन को गलत बताते हुए कहा कि जो पार्टी खुद के संविधान को सुरक्षित नहीं रख सकती, उससे क्या अपेक्षा की जा सकती है। उन्होंने कहा कि जदयू में अभी भी कई लोग परेशान हैं। उन्होंने कुछ और मंत्रियों के राजद में आने की संभावना जताते हुए कहा, “आगे-आगे देखिए होता है क्या?”

रजक के राजद में आने पर तेजस्वी ने कहा कि वे अपने पुराने घर में लौट आए हैं। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार सरकार चल रही है, उसमें जनप्रतिनिधियों की प्रतिष्ठा नहीं रह गई है। अफसरशाही हावी है। उल्लेखनीय है कि रविवार को रजक को जदयू से निष्कासित कर दिया गया था। इसके अलावे मंत्रिपरिषद से भी हटा दिया गया था।

shyam rajak

राजद सरकार में मंत्री रहे रजक 2009 में राजद छोड़कर जदयू में शामिल हुए थे। लालू प्रसाद के करीबी नेताओं में माने जाने वाले रजक 2010 में जदयू के टिकट पर विधानसभा चुनाव जीतकर फिर से मंत्री बने। रजक को राजद की सदस्यता ग्रहण किए मात्र एक-दो घंटे ही गुजरे थे, कि जदयू के कार्यालय में भी एक मिलन समारोह का आयोजन किया गया, जहां राजद के तीन विधायकों को जदयू की सदस्यता ग्रहण करवाई गई।

इस समाराोह में राजद के तीन विधायक प्रेमा चौधरी, महेश्वर यादव और अशोक कुमार ने राजद की ‘लालटेन’ छोड़कर जदयू का ‘तीर’ थाम लिया। इन सभी विधायकों को मंत्री बिजेंद्र यादव, नीरज कुमार और श्रवण कुमार ने जदयू की सदस्ता ग्रहण करवाई। उल्लेखनीय है कि राजद ने रविवार को पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में प्रेमा चौधरी, महेश्वर यादव और फराज फातमी को पार्टी से छह साल के लिए निष्कासित कर दिया था।

JDU

फातमी फिलहाल पटना से बाहर हैं। कहा जा रहा है कि यही कारण है कि उन्होंने सोमवार को जदयू की सदस्यता ग्रहण नहीं कर सके। जदयू की सदस्यता ग्रहण करने के बाद महेश्वर यादव ने कहा कि राजद में अब आंतरिक लोकतंत्र समाप्त हो चुका है। इसमें केवल परिवारवाद चल रहा है। उन्होंने कहा, “गरीबों, दबे-कुचलों के लिए बनाई गई राजद आज पूंजीपतियों, उद्योगपतियों की पार्टी बन गई है। उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को लोकसभा और राज्यसभा भेजा जा रहा है।”

इधर, मंत्री श्रवण कुमार ने कहा, “हमलोग सभी लोग मिलकर बिहार को और मजबूत करेंगे। उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जमकर तारीफ की।” उल्लेखनीय है कि प्रेमा चौधरी, महेश्वर यादव और फराज फातमी पहले भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तारीफ करते रहे हैं।