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BJP And Muslims: ‘हिचक तोड़ बीजेपी का साथ दें अल्पसंख्यक’, एमएलसी बने शिक्षाविद प्रो. तारिक मंसूर बोले- सबसे ज्यादा मुस्लिमों को मिला फायदा

अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) के पूर्व वीसी प्रोफेसर तारिक मंसूर यूपी विधान परिषद के एमएलसी बन गए हैं। गवर्नर आनंदी बेन पटेल ने योगी सरकार की सिफारिश पर उन्हें नामित एमएलसी बनाया है। प्रोफेसर मंसूर साल 2017 में एएमयू के वाइस चांसलर बनाए गए थे। उन्होंने अपनी नई प्राथमिकताएं गिनाई हैं।

लखनऊ। अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) के पूर्व वीसी प्रोफेसर तारिक मंसूर यूपी विधान परिषद के एमएलसी बन गए हैं। गवर्नर आनंदी बेन पटेल ने योगी सरकार की सिफारिश पर उन्हें नामित एमएलसी बनाया है। एमएलसी बनने के बाद प्रोफेसर तारिक मंसूर ने हिंदी अखबार नवभारत टाइम्स को पहला इंटरव्यू दिया। इस इंटरव्यू में प्रोफेसर मंसूर ने बीजेपी की तारीफ के कसीदे काढ़े और उसे अल्पसंख्यकों के हित में सोचने वाली पार्टी बताया। प्रोफेसर तारिक मंसूर ने अल्पसंख्यकों और खासकर मुस्लिमों का आह्वान किया कि वे अपनी हिचक तोड़कर बीजेपी के साथ जुड़ें। उन्होंने ये भी कहा कि बीजेपी की केंद्र और राज्य सरकारों की योजनाओं का अल्पसंख्यकों को सबसे ज्यादा फायदा हुआ है।

professor tariq mansoor 1

अपने इंटरव्यू में प्रोफेसर तारिक मंसूर ने कहा कि सबसे ज्यादा सरकारी योजनाओं का लाभ मुसलमानों को मिला है। बीजेपी सबका साथ, सबका विश्वास और सबका प्रयास की नीति पर काम कर रही है। प्रोफेसर मंसूर ने बीजेपी सरकार की तमाम योजनाओं मसलन हर घर जल, सभी को घर और उज्ज्वला जैसी योजनाओं का हवाला दिया। उन्होंने कहा कि भारत में मुसलमान महज 20 फीसदी हैं, लेकिन उनको 24 फीसदी योजनाओं का लाभ मिला है। उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि अब बीजेपी को लेकर अल्पसंख्यकों की हिचक टूट रही है। हालांकि, इसमें अभी वक्त लगेगा।

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प्रोफेसर मंसूर ने ये भी कहा कि वो अब बीजेपी ज्वॉइन करेंगे। बीजेपी की तरफ से नामित एमएलसी बनाए जाने की आलोचना के बारे में उनका कहना था कि कोई भी नया काम करने पर आलोचना होती है। इससे कोई भी फर्क नहीं पड़ने वाला। उन्होंने बताया कि वो शिक्षा और स्वास्थ्य की बेहतरी के लिए काम करना चाहते हैं। प्रोफेसर तारिक मंसूर ने बताया कि बतौर एमएलसी ज्यादा से ज्यादा लोगों की मदद करना उनका लक्ष्य है। प्रोफेसर मंसूर साल 2017 में एएमयू के वाइस चांसलर बनाए गए थे।