नई दिल्ली। पंजाब नेशनल बैंक (PNB) मामले में आरोपी और भगोड़ा हीरा कारोबारी नीरव मोदी (Nirav Modi) को बड़ा झटका लगा है। नीरव मोदी को भारत लाए जाने का अब रास्ता साफ हो गया है। भगोड़े नीरव मोदी को ब्रिटेन से भारत लाया जाएगा। ब्रिटेन के गृह विभाग ने प्रत्यर्पण की मंजूरी दे दी है। सीबीआई के एक अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि शुक्रवार को ब्रिटेन की होम मिनिस्टर प्रीति पटेल ने नीरव मोदी को भारत प्रत्यर्पित किए के फैसले पर मुहर लगा दी है।
United Kingdom’s Home Minister has approved the extradition of Nirav Modi: CBI official pic.twitter.com/cdqLHDYM92
— ANI (@ANI) April 16, 2021
इससे पहले लंदन की अदालत ने मामले की सुनवाई करते हुए नीरव मोदी के भारत प्रत्यर्पण पर सहमति जताई थी और उसकी सभी दलीलों को खारिज करते हुए कहा था कि उसका भारत की जेल में ख्याल रखा जाएगा। बता दें कि नीरव मोदी फिलहाल लंदन की एक जेल में बंद है।
इस साल 25 फरवरी को ब्रिटेन की एक अदालत ने 13,500 करोड़ रुपये के पीएनबी घोटाला मामले में नीरव मोदी के प्रत्यर्पण की अनुमति दी थी। केंद्र सरकार 2018 में भगोड़ा आर्थिक अपराधी कानून लाई थी, जिसमें भगोड़े अपराधियों की संपत्ति को जब्त करने का प्रावधान है। जब्त करने का आदेश निकलने के 90 दिन बाद इन संपत्तियों को नीलाम किया जा सकता है। इसके पहले प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून के तहत नीरव मोदी की करोड़ों रुपये की संपत्ति जब्त कर चुकी है।
वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट के जिला न्यायाधीश सैमुअल गूजे ने मनी लॉन्ड्रिंग के लिए मोदी के खिलाफ प्रथम ²ष्टया सबूत को स्वीकार करते हुए कहा था, “इनमें से कई मामले भारत में मुकदमे के लिए हैं। मैं फिर से संतुष्ट हूं कि इस बात के सबूत हैं कि उन्हें दोषी ठहराया जा सके।”
सीबीआई ने तब भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के अपने प्रयासों में ब्रिटेन की अदालत के फैसले को एक महत्वपूर्ण उपलब्धि करार दिया था। लगभग दो साल की लंबी कानूनी लड़ाई के बाद यह फैसला सुनाया गया था। भारत में हिरासत की स्थिति और चिकित्सा व्यवस्था पर संतोष व्यक्त करते हुए, अदालत ने कहा था, “बैरक 12 में स्थितियां (मुंबई में आर्थर रोड जेल में) लंदन में उनके वर्तमान सेल से कहीं बेहतर दिखती हैं।”
नीरव मोदी के पक्ष में कहा गया था कि कोविड-19 महामारी के दौरान उनकी बिगड़ती सेहत और भारतीय जेलों की खराब स्थितियों को देखते हुए उन्हें भारत प्रत्यर्पित नहीं किया जा सकता है। 19 मार्च, 2019 को प्रत्यर्पण वारंट पर गिरफ्तार किए गए मोदी पर मनी लॉन्ड्रिंग, सबूत नष्ट करने और गवाहों को डराने की साजिश रचने का आरोप है।
नीरव मोदी के मामा और गीतांजलि समूह के प्रमुख मेहुल चोकसी भी इस मामले में आरोपी है और उसके खिलाफ भी जांच की जा रही है। कहा जा रहा है कि वह फिलहाल एंटीगुआ में है।