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Uttarakhand Tunnel Rescue: उत्तराखंड की सुरंग से बचाए गए मजदूरों को सीएम पुष्कर सिंह धामी ने दिए 1-1 लाख के चेक, मिलकर पूछा हालचाल

सीएम धामी ने इन मजदूरों को सुरंग बनाने में लगाने वाली कंपनी से 15-20 दिन की छुट्टी देने को भी कहा है। ताकि मजदूर अपने घर जाकर परिजनों से मिल सकें। धामी ने पहले ही एलान किया है कि सिलक्यारा सुरंग में फंसने वाले मजदूरों का उत्तराखंड सरकार मुफ्त इलाज कराएगी।

चिन्यालीसौड़। उत्तराखंड के उत्तरकाशी स्थित सिलक्यारा सुरंग से बचाए गए 41 मजदूरों को सीएम पुष्कर सिंह धामी ने 1-1 लाख रुपए के चेक सौंपे हैं। चिन्यालीसौड़ स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती मजदूरों से जाकर सीएम धामी ने मुलाकात की। जहां उनको चेक सौंपे गए। सीएम धामी ने इन मजदूरों को सुरंग बनाने में लगाने वाली कंपनी से 15-20 दिन की छुट्टी देने को भी कहा है। ताकि मजदूर अपने घर जाकर परिजनों से मिल सकें। धामी ने पहले ही एलान किया है कि सिलक्यारा सुरंग में फंसने वाले मजदूरों का उत्तराखंड सरकार मुफ्त इलाज कराएगी। पुष्कर सिंह धामी ने कई मजदूरों के रिश्तेदारों से भी मुलाकात की। ये रिश्तेदार कुछ दिन पहले ही अपने परिजन मजदूरों से बात करने सिलक्यारा सुरंग पहुंचे थे।

17 दिन बाद खुद को सकुशल सिलक्यारा सुरंग से निकाले जाने से मजदूर काफी खुश हैं। मजदूरों ने खुद के बचाव के लिए सभी इंतजाम होने पर उत्तराखंड की सरकार और केंद्र सरकार को धन्यवाद दिया है। पीएम नरेंद्र मोदी इस पूरे समय सीएम पुष्कर सिंह धामी से एक-एक पल की जानकारी लेते रहे। मंगलवार को जब मजदूरों को सुरंग से निकाला गया, तो पीएम मोदी ने उनसे बात भी की थी। मजदूरों ने उस वक्त भी पीएम मोदी को धन्यवाद दिया था। वहीं, पीएम मोदी ने मजदूरों के साहस की तारीफ की थी और कहा था कि उन्होंने जिस तरह का सब्र दिखाया वो तारीफ के काबिल है। मोदी ने इससे पहले मजदूरों के सकुशल निकलने पर इसे इंसानियत की जंग जीतना भी कहा था। पीएम मोदी और सीएम धामी ने जिस तरह एक्शन लिया, उससे सभी मजदूर उनकी तारीफ करते थक नहीं रहे हैं।

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सिलक्यारा सुरंग में 12 नवंबर को तड़के 5.30 बजे धंसाव हो गया था। इस धंसाव की वजह से सुरंग में 60 मीटर लंबाई तक मलबा आ गया था। इस मलबे के पीछे 41 मजदूर फंस गए थे। पहले ऑगर मशीन से उनको निकालने की कोशिश हुई, लेकिन सरिया से उलझकर ऑगर मशीन टूट गई थी। ऑगर मशीन के टूटे हिस्से को प्लाज्मा कटर से काटकर निकाला गया और फिर रैट माइनर्स टीम ने अपने हाथों से मलबे को हटाकर पाइपलाइन बिछवाई। 800 मिलीमीटर व्यास की इसी पाइपलाइन से होकर मजदूर मंगलवार की रात सिलक्यारा सुरंग से सकुशल बाहर आए थे। इन सभी की हालत ठीक है और वे जोश में भी बताए जा रहे हैं। डॉक्टर लगातार मजदूरों के स्वास्थ्य का परीक्षण कर रहे हैं।