
बीजिंग। टैरिफ की जंग और तेज होने की आशंका है। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की और 50 फीसदी टैरिफ लगाने की धमकी पर चीन ने पलटवार किया है। चीन की सरकार ने कहा है कि अगर ट्रंप ने ये फैसला किया, तो वो भी अपने हितों की रक्षा के लिए कदम उठाएगा। डोनाल्ड ट्रंप ने जब चीन पर 34 फीसदी टैरिफ लगाने का एलान किया था, तो चीन ने भी अमेरिका से आयात होने वाले सामान पर इतना ही टैरिफ लगा दिया था। इसके बाद ट्रंप ने कहा था कि अगर चीन ने 8 अप्रैल तक इस टैरिफ को नहीं हटाया, तो वो चीन पर और 50 फीसदी टैरिफ लगाएंगे। बता दें कि चीन पर पहले से ही अमेरिका ने 20 फीसदी टैरिफ लगा रखा था।

टैरिफ की ये जंग कहां थमेगी, इसका अंदाजा कोई नहीं लगा पा रहा है। खबर ये भी है कि यूरोपीय यूनियन ने भी अमेरिका पर पलटवार का इरादा बनाया है। मीडिया की खबरों के मुताबिक यूरोपीय यूनियन के देशों में सहमति बनी, तो अमेरिका पर वो 25 फीसदी टैरिफ लगा सकता है। यूरोपीय यूनियन में 27 देश हैं और ये सभी अगर साथ मिलकर अमेरिका से आयात होने वाले सामान पर टैरिफ लगाते हैं, तो व्यापार युद्ध दुनिया के बड़े हिस्से में फैल जाएगा। डोनाल्ड ट्रंप ने 2 अप्रैल को 60 देशों पर टैरिफ लगाया था। सबसे ज्यादा टैरिफ वियतनाम और चीन पर लगाया गया है। ट्रंप ने बीते दिनों दावा किया था कि वियतनाम समेत 3 देश टैरिफ के मसले पर अमेरिका से बात कर रहे हैं।
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का कहना है कि दुनिया के ज्यादातर देशों ने अमेरिका को टैरिफ लगाकर लूटा है। इस आरोप को लगाने के साथ ही ट्रंप ने कहा था कि अमेरिका के दोस्त देशों ने भी यही किया है। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने सहयोगी देश ब्रिटेन, जापान, ऑस्ट्रेलिया और भारत पर भी टैरिफ लगाए हैं। तमाम देशों ने ट्रंप के टैरिफ पर प्रतिक्रिया दी है, लेकिन भारत की तरफ से रेसिप्रोकल टैरिफ पर सिर्फ इतना कहा गया है कि अमेरिका निर्यात होने वाले सामान पर टैरिफ के असर का विश्लेषण किया जा रहा है।