नई दिल्ली। सावन के महीने की शुक्ल पक्ष की पंचमी को नागपंचमी का त्योहार भी मनाया जाता है। इस दिन पर नाग देवता की विधि-विधान से पूजा की जाती है। भगवान शिव के गले में नागदेवता वासुकि लिपटे रहते हैं। इस साल नाग पंचमी 12 अगस्त को मनाई जाएगी। जिसका शुभ मुहूर्त दोपहर 03 बजकर 24 मिनट से शुरू होकर अगले दिन दोपहर 01 बजकर 42 मिनट तक रहेगा। वहीं पूजा के लिए 13 अगस्त को सुबह 05 बजकर 49 मिनट से लेकर 08 बजकर 28 मिनट तक का मुहूर्त शुभ बताया गया है।
नाग पंचमी के दिन न करें ये गलती
- नाग पंचमी पर जिंदा नाग की पूजा ना करें बल्कि किसी मूर्ति की पूजा करनी चाहिए
- नागपंचमी के दिन जमीन की खुदाई भूलकर भी नहीं करनी चाहिए।
- इस दिन किसी भी नाग को सताना नहीं चाहिए।
- इस दिन साग काटने की भी मनाही होती है।
- इस दिन हल चलाना या जुताई नहीं करनी चाहिए।
- सुई धागे से किसी तरह की सिलाई भी नहीं की जानी चाहिए जाती है।
- इस दिन तवा और लोहे की कड़ाही आदि पर खाना नहीं बनाया जाना चाहिए।नाग पंचमी पर जिंदा नाग की पूजा ना करें बल्कि किसी मूर्ति की पूजा करनी चाहिए
इस तरह करें पूजा
नाग पंचमी की शुरुआत चतुर्थी के दिन से ही हो जाती है। कहते हैं कि इस दिन एक समय भोजन करना चाहिए। इसके साथ ही अगले दिन पंचमी की सुबह जल्दी उठकर स्नान करें। इसके बाद पूजा करने के लिए चौकी सजाएं उसपर नाग देवता की फोटो या मूर्ति रखकर पूजा की तैयारी करें। फिर हल्दी, रोली, फूल, दूध आदि चढ़ाएं। पूजा करने के बाद नाग देवता की आरती भी करें। व्रत करने वाले लोगों को नाग पंचमी की कथा जरूर पढ़नी और सुननी चाहिए।