नई दिल्ली। इस समय सातवां वेतन आयोग चल रहा है और केंद्र सरकार के कर्मचारियों को इसी के अनुसार वेतन भी दिया जा रहा है। लेकिन ऐसे कयास भी लगाए जा रहे हैं कि सैलरी में वृद्धि करने के लिए लाया गया ये वेतन आयोग आखिरी हो सकता है। यानी कि अब आठवां वेतन आयोग नहीं आएगा। केंद्र सरकार इस बारे में एक नया फैसला लेने पर विचार कर रही है। इसके तहत अब वेतन आयोग की प्रथा को बंद किया जा सकता है। ये फार्मूला साल 2016 में पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली ने दिया था, लेकिन उनकी मृत्यु के बाद ये ठंडे बस्ते में चला गया।
हालांकि, केंद्र सरकार कर्मचारियों की सेलरी बढ़ाने के लिए वेतन आयोग की जगह कुछ नया प्लान कर सकती है। इस बात की भी संभावना जताई जा रही है कि अब कर्मचारियों की सैलरी में इंक्रीमेंट उनकी परफॉर्मेंस के हिसाब से किया जाएगा। इसके अलावा, सरकार नए फॉर्मूले के लाभ-हानि और लागू करने की सारी प्रक्रियाओं पर भी विचार कर रही है। गौरतलब है कि पूर्व वित्त मंत्री स्वर्गीय अरूण जेटली ने साल 2016 में जुलाई के महीने में इस ओर इशारा करते हुए कहा था कि अब हमें वेतन आयोग से हटकर भी कर्मचारियों के विषय में सोचना चाहिए।
मिली जानकारी के अनुसार, सरकार एक ऐसा फॉर्मूला बनाने की तैयारी में है, कि जिसमें 50% DA होने पर सैलरी में अपने आप ही बढ़ोतरी हो जाएगी। इस प्रक्रिया को ऑटोमैटिकली पे रिविजन का नाम दिए जाने पर विचार किया जा रहा है। हालांकि, वेतन आयोग को पूरी तरह से समाप्त करने और ये नया फॉर्मूला लागू करने के बारे में सरकार की ओर से अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है। अभी ये मामला विचार-विमर्श के चरण तक ही पहुंचा है।