नई दिल्ली। महाराष्ट्र के पूर्व सीएम और भाजपा के वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस से ट्रांसफर पोस्टिंग मामले में आज साइबर पुलिस ने पूछताछ की। पूर्व सीएम से मामले में लगातार 2 घंटे तक पूछताछ की गई। पूछताछ के बाद देवेंद्र फडणवीस ने बीजेपी नेताओं संग एक मीटिंग भी की। मीटिंग में नितेश राणे, मनोज कोटक,प्रवीण दरकार और किरीट सोमैया समेत कई नेता मौजूद रहे। पूछताछ के बाद फडणवीस ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दावा किया गया कि उनके साथ सही तरीके से व्यवहार नहीं किया। उन्होंने बताया कि उनके साथ गुनहगारों के जैसे पूछताछ की गई।
प्रेस कॉन्फ्रेंस ने फडणवीस ने किए खुलासे
प्रेस कॉन्फ्रेंस कर फडणवीस ने कहा कि साइबर पुलिस ने 2 घंटे तक पूछताछ की और मेरा बयान दर्ज किया। जो सवालों की लिस्ट मेरे पास भेजी गई थी पूछताछ के दौरान दूसरे ही सवाल किए गए। मेरे साथ आरोपियों के जैसा बर्ताव किया गया। उन्होंने बताया कि पूछताछ के दौरान ही मुझे ऐसा महसूस कराया गया कि मेरे कोई गुनाह किया है। वहीं एक अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि बीकेसी साइबर पुलिस की एक टीम रविवार को यहां भाजपा के वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस के आवास पर फोन की कथित अवैध टैपिंग के एक मामले में बयान दर्ज करने के लिए पहुंची थी। पूछताछ के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री फडणवीस के घर के बाहर भारी सुरक्षा तैनात की गई थी। बता दें कि मुंबई साइबर पुलिस ने पहले फडणवीस को एक नोटिस जारी किया था, जिसमें उन्हें मामले के संबंध में रविवार को उनके सामने पेश होने के लिए कहा गया था।
A police team recorded my statement in the transfer, posting case. I answered all questions. Maharashtra govt had been brushing aside the case for the past six months. I am a whistleblower of this case: Former Maharashtra chief minister and BJP leader Devendra Fadnavis pic.twitter.com/JKO9cpGWGG
— ANI (@ANI) March 13, 2022
क्या है पूरा मामला
ये मामला एक साल पुराना है। साल 2021 में पूर्व सीएम फडणवीस पर आरोप लगे थे कि उन्होंने पुलिस ट्रांसफर संबंधित कुछ सीक्रेट दस्तावेज केंद्रीय गृह सचिव से मुलाकात कर उन्हें सौंपे थे। जिसके आधार पर ही पुलिस ने देवेंद्र के खिलाफ सीक्रेट एक्ट के उल्लंघन मामले में केस दर्ज किया था। जिसके बाद साइबर पुलिस ने मामले में उन्हें दो बार नोटिस भी भेजा था जिसका जवाब उन्होंने नहीं दिया था।