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Jammu kashmir: खौफ के आगे जीती आस्था, टारगेट किलिंग की घटनाओं के बीच जम्मू-कश्मीर में खीर भवानी मेला शुरू, जोश में दिखें कश्मीरी पंडित

Jammu kashmir: पिछले साल 8 जून से कश्मीर में टारगेट किलिंग के मामले देखने को मिले है। 8 जून 2021 को सरपंच अजय पंडित की हत्या से इसका सिलसिला शुरू हुआ था। जिसके बाद 5 अक्टूबर को श्रीनगर के केमिस्ट एमएल बिंद्रू की हत्या कर दी गई थी। इसके दो दिन के बाद ही यानी 7 अक्टूबर को आतंकियों ने एक स्कूल की प्रिंसिपल सतिंदर कौर और टीचर दीपक चंद को मौत के घाट उतार दिया था।

नई दिल्ली। कश्मीर को जन्नत यूं ही नहीं कहा जाता, यहां की खुबसूरत वादियां, भगवान को लेकर यहां लोगों की आस्था, बाहर से घुमने आए लोगों के लिए यहां रहने वाले लोगों का प्यार आपके दिल में भी अपने लिए जगह बना लेता है। हालांकि बीते कुछ समय में सामने आए टारगेट किलिंग के मामलों ने लोगों को डरा दिया है लेकिन कहते हैं न डर कितना भी बड़ा हो लेकिन मन में मौजूद आस्था से बड़ा नहीं हो सकता। कुछ ऐसा ही नजारा आज यहां देखने को मिला है। दरअसल, आज बुधवार को मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले के तुलमुला इलाके में खीर भवानी मंदिर मेले का आयोजन हो रहा है। लोग जहां निडर होकर इस मेले को लेकर उत्साह दिखा रहे हैं तो वहीं, कश्मीर में टारगेट किलिंग बढ़ती घटना को देखते हुए सरकार भी अलर्ट मोड में है।

JAMMU KASHMIR..

बता दें कि अमरनाथ के बाद घाटी में जिसे लेकर सबसे ज्यादा मान्यता है वो है खीर भवानी मंदिर। लोग दूर-दूर से इस मेले और मंदिर में दर्शन के लिए पहुंचते हैं। हालांकि कोरोना वायरस महामारी के फैलाव के बाद ये मेला बीते 2 सालों से नहीं लग पाया था। ऐसे में अब इस बार लोगों का इसे लेकर खासा उत्साह दिख रहा है।

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आतंक के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति- शाह

घाटी में कुछ समय में बढ़े टारगेट किलिंग के मामलों को लेकर सरकार भी कमर कसे हुए हैं। बीते दिन मंगलवार को गृह मंत्री अमित शाह ने एनएसए अजीत डोभाल और एनटीआरओ प्रमुख अनिल दशमाना के साथ हाई लेवल मीटिंग की जिसमें उन्हें मेले में सुरक्षा के संबंध में जानकारी ली। इस बैठक में सीएपीएफ के आला अधिकारियों ने अपनी मौजूदगी दर्ज कराई। इस दौरान गृह मंत्री शाह ने जीरो टॉलरेंस नीति को दोहरात हुए कहा कि मोदी सरकार की आतंक के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति है। ऐसे में इसके तहत नए सिरे से रणनीति बनाई जाए। गृह मंत्री अमित शाह ने आतंकियों को घेरने के निर्देश दिए। ध्यान हो कि बीते साल अक्टूबर में गृह मंत्री अमित शाह खीर भवानी मंदिर पहुंचे थे जहां उन्होंने दर्शन किए थे।

JAMMU KASHMIR....

कब से शुरू हुआ टारगेट किलिंग का सिलसिला?

पिछले साल 8 जून से कश्मीर में टारगेट किलिंग के मामले देखने को मिले है। 8 जून 2021 को सरपंच अजय पंडित की हत्या से इसका सिलसिला शुरू हुआ था। जिसके बाद 5 अक्टूबर को श्रीनगर के केमिस्ट एमएल बिंद्रू की हत्या कर दी गई थी। इसके दो दिन के बाद ही यानी 7 अक्टूबर को आतंकियों ने एक स्कूल की प्रिंसिपल सतिंदर कौर और टीचर दीपक चंद को मौत के घाट उतार दिया था। मई महीने में आतंकियों द्वारा टारगेट किलिंग की 8 घटनाएं सामने आईं। रजनी बाला की हत्या से पहले आतंकियों ने  12 मई को बड़गाम में दफ्तर में घुसकर राजस्व अधिकारी राहुल भट्ट की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस घटना के बाद से ही वहां मौजूद सरकारी कर्मचारी डरे-सहमे हुए हैं।