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Manik Saha Tripura New CM: बिप्लव देव के इस्तीफे के बाद अब माणिक साहा बनाए गए त्रिपुरा के मुख्यमंत्री, विधायक दल की बैठक में लिया गया ऐसा फैसला

Manik Saha appointed as Tripura CM : ध्यान रहे कि बिप्लव देव के इस्तीफे के उपरांत सियासी गलियारों  में प्रदेश के अगले मुख्यमंत्री को लेकर चर्चाओं का बाजार गुलजार हो गया था और इस बात को लेकेर कयासों लगाए जा रहे थे कि आखिर प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में आखिर कौन काबिज हो सकता है। बहरहाल, अब काफी कश्मकश के बाद उनके नाम पर अंतिम मुहर लगाई जा चुकी है। 

नई दिल्ली। बिप्लव देव के इस्तीफा देने के उपरांत अब त्रिपुरा के अगले मुख्यमंत्री के रूप में माणिक साहा के नाम की घोषणा की गई है। विधायक दल की बैठक के उपरांत उनके मुख्यमंत्री के रूप में उनके नाम पर सर्वसम्मति से उनके नाम पर मुहर लगाई गई है। ध्यान रहे कि बिप्लव देव के इस्तीफे के उपरांत सियासी गलियारों  में प्रदेश के अगले मुख्यमंत्री को लेकर चर्चाओं का बाजार गुलजार हो गया था और इस बात को लेकेर कयासों लगाए जा रहे थे कि आखिर प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में आखिर कौन काबिज हो सकता है। बहरहाल, अब काफी कश्मकश के बाद उनके नाम पर अंतिम मुहर लगाई जा चुकी है।

बता दें कि माणिक साहा मणिपुर से बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष हैं। विधायक दल की बैठक में त्रिपुरा के मुख्यमंत्री के रूप में उनके नाम पर मुहर लगाई गई है। आगामी 2023 के त्रिपुरा विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए बीजेपी नेता अब नए सिरे से अपनी तैयारियों को परवान चढ़ाने में मशगूल हो गए हैं। ध्यान रहे कि कथित तौर पर पार्टी ने संगठन हित को ध्यान में रखते हुए त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लव देव से इस्तीफे की मांग की है। लिहाजा उन्होंने भी संगठन के हित को ध्यान में रखते हुए इस्तीफा देने से गुरेज नहीं किया है। उन्होंने इस्तीफे के उपरांत कहा कि संगठन का प्रत्येक फैसला सर्वोपरि है।

ध्यान रहे कि पिछले कुछ दिनों से त्रिपुरा की बीजेपी इकाई नेताओं के पार्टी छोड़ने का सिलसिला जारी है। जिसे ध्यान में रखते हुए यह माना जा रहा है कि बिप्लव देव से इस्तीफा लिया गया। इस्तीफे के उपरांत बिप्लव ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि विगत 13 मई उनकी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से वार्ता हुई थी। लेकिन उन मसलों को सार्वजनिक नहीं किया था जिस पर उनकी पीएम से वार्ता हुई थी। हालांकि, पिछले कुछ दिनों से त्रिपुरा की राजनीति में उथल पुथल का सिलसिला जारी है, उसे ध्यान में रखते हुए अब उपरोक्त कदम उठाया गया है। बहरहाल, अब ऐसी स्थिति परिस्थितियों में इन तमात सियासी समीकरणों का  आगामी त्रिपुरा विधानसभा चुनाव में उपरोक्त गतिविधियों का क्या कुछ असर पड़ता है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी। तब तक के लिए आप देश-दुनिया की तमाम बड़ी खबरों से रूबरू होने के लिए पढ़ते रहिए। न्यूज रूम पोस्ट.कॉम