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भारतीय नौ सेना की ताकत बढ़ाने आ रहा ‘रोमियो’, दुश्मनों की अब खैर नहीं

भारतीय नौसेना को हिंद महासागर और अरब सागर में चीनी नौसेना की दखलंदाजी बढ़ रही है। जिससे निपटने के लिए भारतीय नौसेना को हथियार मिलने की तैयारी शुरू हो गई है।

नई दिल्ली। भारतीय नौसेना को हिंद महासागर और अरब सागर में चीनी नौसेना की दखलंदाजी बढ़ रही है। जिससे निपटने के लिए भारतीय नौसेना को हथियार मिलने की तैयारी शुरू हो गई है।

अमेरिका से खरीदा जाने वाला एमएच 60 आर यानि रोमियो हेलीकॉप्टर किसी भी सबमरीन या जंगी जहाज से निपटने में बेहतरीन है। सबमरीन बेड़ा भारतीय नौसेना की सबसे कमजोर कड़ी है और हिंद महासागर में चीनी सबमरीन की मौजूदगी चिंता बढ़ा रही है। लगभग 20000 करोड़ रुपए की कीमत से 24 रोमियो हेलीकॉप्टर खरीदने का फैसला फरवरी में राष्ट्रपति ट्रंप की भारत यात्रा के दौरान किया गया था। 15 फरवरी को लगभग 7000 करोड़ रुपए के सौदे पर मोहर लगा दी गई है।

बाकी कीमत हेलीकॉप्टर में लगने वाले हथियारों और उपकरणों की होगी। लॉकहीड मार्टिन के साथ हुए सौदे के साथ ही अमेरिकी नौसेना के लिए बनाए गए तीन रोमियो हेलीकॉप्टर को भारत को देने की भी सहमति मिल गई है। इन तीनों को भारतीय नौसेना के पायलटों की ट्रेनिंग के लिए इस्तेमाल किया जाएगा। रोमियो हेलीकॉप्टर्स अगले साल तक भारतीय नौसेना को मिलने शुरू हो जाएंगे।

आपको बता दें कि भारतीय नौसेना के पास अभी न्यूक्लियर सबमरीन सहित कुल 16 सबमरीन हैं। भारतीय नौसेना ने 2024 तक कुल 24 नई सबमरीन बनाने की योजना बनाई थी जिनमें अब तक केवल 2 मिल पाई है। वहीं चीन के पास कुल सबमरीन की तादाद लगभग 76 बताई जाती है जिनमें से 10 न्यूक्लियर सबमरीन है। चीन पाकिस्तान को भी युआन क्लास की 8 सबमरीन दे रहा है जिनके 2028 तक पाकिस्तानी नौसेना में शामिल होने की संभावना ह। युआन क्लास की सबमरीन में एयर इंडिपेंडेंट प्रोपेल्शन लगा है जिससे ये बेहद खामोशी से समुद्र में रह सकती है।