हैदराबाद। सीडीएस रहे जनरल बिपिन रावत को कांग्रेस के कई नेताओं ने सड़क का गुंडा कहा था। पाकिस्तान पर हुए सर्जिकल और एयर स्ट्राइक के सबूत भी विपक्ष के नेताओं ने मांगे थे। अब तेलंगाना के आईटी मंत्री केटी रामाराव ने सिकंदराबाद में सेना छावनी को पानी और बिजली की आपूर्ति रोकने की धमकी दी है। बीजेपी ने इस धमकी की निंदा करते हुए तेलंगाना सरकार पर सवाल खड़ा किया है। बता दें कि शनिवार को राज्य विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान रामाराव ने कहा था कि हमने रक्षा अधिकारियों से सड़कों को बंद न करने और सिकंदराबाद इलाके में विकास कार्यों राज्य सरकार से सहयोग करने के लिए कई बार अनुरोध किया था। सेना की ओर से इस पर अब तक प्रतिक्रिया नहीं आई है। हमें निवासियों के हितों की रक्षा के लिए उनके क्षेत्रों (कैंटोनमेंट यानी छावनी) में बिजली और पानी की आपूर्ति काटने जैसे कड़े कदम उठाने के लिए मजबूर किया जा रहा है।
इस पर बीजेपी के नेता एनवी सुभाष ने कहा है कि तेलंगाना राष्ट्र समिति TRS के नेता अच्छी तरह शिक्षित हैं, लेकिन उन्हें देश की रक्षा में लगे बलों को सम्मान देना नहीं आता। सुभाष ने न्यूज एजेंसी एएनआई से कहा कि तेलंगाना के मंत्री केटीआर की ये टिप्पणी वाकई चौंकाती है। ये वास्तव में तेलंगाना सरकार के रुख को दर्शाता है कि वे हमारी सेना और उसके जवानों से कैसा व्यवहार करते हैं। सुभाष ने पलटकर सवाल दागा कि क्या टीआरएस की सरकार हैदराबाद से सेना की छावनी को हटाने की कोशिश कर रहे हैं ? उन्होंने कहा कि आज वे सैन्य अफसरों को बिजली और पानी की सप्लाई बंद करने के बयानों से धमका रहे हैं। वे कहना क्या चाहते हैं ?
बीजेपी नेता ने कहा कि तेलंगाना में ये हालत हो गई है, कि अगर कोई टीआरएस सरकार की नहीं सुनता, तो वे धमकी देना शुरू कर देते हैं। जल्दी ही जनता इन्हें सबक सिखा देगी। सुभाष ने कहा कि रक्षा बलों को धमकी देना अस्वीकार्य है। टीआरएस सरकार को ऐसा करने वालों के प्रति शर्म आनी चाहिए। बता दें कि बीते दिनों तेलंगाना के सीएम और टीआरएस प्रमुख के. चंद्रशेखर राव ने भी पीएम नरेंद्र मोदी के खिलाफ बयान दिए थे। चंद्रशेखर राव ने शिवसेना और अन्य विपक्षी दलों के साथ मिलकर 2024 में मोदी विरोधी गठजोड़ को मजबूत करने की बात भी कही थी।