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Afghan Crisis: अशरफ गनी बोले- नहीं छोड़ता देश तो बर्बाद हो जाता काबुल, अफगानिस्तान को बचाने के लिए उठाया कदम

Afghan Crisis: अपनी पोस्ट में गनी ने आगे कहा कि उन्होंने देश के लिए 20 सालों तक सेवा की है। उन्हें केवल आतंकियों की वजह से अपने प्यारे देश को छोड़ना पड़ा। गनी ने कहा कि तालिबान ने भले ही तलवार और बंदूकों का के बल पर काबुल पर जीत पाई हो लेकिन वो कभी वहां के लोगों का दिल नहीं जीत सकता।

नई दिल्ली। अफगानिस्तान में तालिबान के कहर के बीच बीते दिन अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी ने देश छोड़ दिया। जिसके बाद गनी ने अपने देश के पीछे की वजह को साफ किया है। अशरफ गनी ने कहा कि उन्होंने देश छोड़ने का फैसला काबुल को बचाने के लिए लिया। उनका कहना है, “खून-खराबे” से बचने के लिए उन्हें अपना देश छोड़ना पड़ा। बता दें, राष्ट्रपति अशरफ गनी द्वारा देश छोड़ने के कुछ ही घंटों बाद तालिबान द्वारा काबुल में अफगानिस्तान के राष्ट्रपति भवन पर कब्जा कर लिया गया।

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देर रात फेसबुक पोस्ट में देश छोड़ने के पीछे का कारण बताते हुए उन्होंने लिखा कि तालिबान की जीत हो गई है। जिसके बाद अब वो वहां के लोगों के सम्मान, संपत्ति और सुरक्षा के लिए जिम्मेदार होंगे। उन्होंने कहा कि अगर वो देश नहीं छोड़ते तो यहां लोग बड़ी संख्या में तालिबानियों से लड़ने के लिए आगे आते। ऐसे में जनता और आतंकियों के बीच लड़ाई होती तो कईयों की जान भी जाती। देश बर्बाद हो जाता। इसी को देखते हुए उन्होंने काबुल छोड़ने का फैसला लिया।

Afghanistan

20 साल से कर रहा हूं देश की सेवा

अपनी पोस्ट में गनी ने आगे कहा कि उन्होंने देश के लिए 20 सालों तक सेवा की है। उन्हें केवल आतंकियों की वजह से अपने प्यारे देश को छोड़ना पड़ा। गनी ने कहा कि तालिबान ने भले ही तलवार और बंदूकों का के बल पर काबुल पर जीत पाई हो लेकिन वो कभी वहां के लोगों का दिल नहीं जीत सकता।