मॉस्को। भारतीय विदेश मंत्रालय ने भले ही कहा हो कि यूक्रेन के खारकीव में भारतीय छात्रों को बंधक बनाने की उसे कोई जानकारी नहीं है, लेकिन रूस ये दावा कर रहा है। बुधवार को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन और पीएम नरेंद्र मोदी की बातचीत के बाद रूस के विदेश मंत्रालय ने ऐसा दावा किया था। अब खुद रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन ने भी कहा है कि यूक्रेन में 3000 से ज्यादा भारतीय छात्रों को बंधक बनाया गया। पुतिन ने रूस की सिक्यूरिटी काउंसिल की बैठक के बाद ये भी कहा कि चीन के छात्रों को भी यूक्रेन में बंधक बनाया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि यूक्रेन विदेशियों को निकालने में देरी करने की कोशिश कर रहा है और इससे उन्हें खतरा है।
Breaking: Russian President Vladimir Putin says more than 3000 Indian citizens hostage in Kharkiv by Ukraine authorities
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— Sidhant Sibal (@sidhant) March 3, 2022
पुतिन ने फिर कहा कि उनकी सेना ने सुरक्षित गलियारों की पेशकश की है, ताकि नागरिक युद्ध वाले इलाकों से बचकर निकल सकें। उन्होंने आम लोगों की दुर्दशा के लिए यूक्रेन को जिम्मेदार बताया। मोदी सरकार की ओर से छात्रों को तुरंत खारकीव छोड़ने का परामर्श बुधवार को जारी किया गया था। इसके बाद भी तमाम छात्र वहां फंसे हैं और निकलने की कोशिश कर रहे हैं। विदेश मंत्रालय ने अपनी एडवायजरी में कहा था कि भारतीयों को तुरंत खारकीव से निकल जाना चाहिए। अगर कोई साधन न मिले, तो वे पैदल ही चले जाएं। रूस ने भी कहा था कि जो भारतीय उसकी सीमा पर पहुंचेंगे, उन्हें देश भेजने की हर हाल में व्यवस्था की जाएगी।
भारतीय छात्रों का कहना है कि अब भी उन्हें खारकीव से सुरक्षित जगह जाने में मुश्किल हो रही है। तमाम छात्रों ने कहा कि बुधवार और गुरुवार की रात बीत गई, लेकिन ऐसे हालात में बंकरों में रहना आसान नहीं है। रेलवे स्टेशनों पर भी ट्रेन में उन्हें जगह नहीं दी जा रही है। तमाम छात्रों के पास कड़कड़ाती ठंड के बावजूद कंबल नहीं है। भोजन भी कम है। उन्होंने उम्मीद जताई कि अब किसी तरह बसों की व्यवस्था हो जाए, तो वे अपनी जान बचा सकेंगे।