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Oil Prices Goes Steep: यूक्रेन संकट से कच्चे तेल में लगी आग, दुनिया पर पड़ सकती है महंगाई की मार

पीएम नरेंद्र मोदी ने सोमवार को एक जनसभा में लोगों को बताया था कि सरकार देश के पेट्रोलियम उत्पादों का 80 फीसदी दूसरे देशों से खरीदती है। ऐसे में कच्चे तेल की कीमत के लगातार बढ़ने से आने वाले दिनों में हर जरूरी चीज की कीमत बढ़ने के आसार हैं।

वॉशिंगटन। यूक्रेन पर रूस के हमले से चारों तरफ हाहाकार मचा है। एक तरफ जंग चल रही है, वहीं महंगाई की मार भी आने वाले कुछ दिनों में पड़ने के आसार हैं। इसकी वजह कच्चा तेल है। कच्चा तेल रूस के हमले के बाद से लगातार ऊंचाई छू रहा है। सबसे बेहतरीन कच्चा तेल ब्रेंट क्रूड माना जाता है। इसका मई का फ्यूचर ट्रेडिंग रेट 1 फीसदी बढ़कर 98.90 डॉलर प्रति बैरल हो गया है। करीब सात साल बाद ब्रेंट क्रूड ने ये ऊंचाई छुई है। वहीं, अमेरिका के वेस्ट टेक्सास इंटरमीडिएट कच्चा तेल का अप्रैल फ्यूचर भी 0.8 फीसदी बढ़कर 96.53 डॉलर हो गया है। हालात को देखते हुए अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी IEA ने आपात बैठक बुलाई है। बैठक में कच्चे तेल की कीमतों को थामने के बारे में उपायों पर चर्चा होगी।

crude oil

उधर, पेट्रोलियम उत्पादक देशों के संगठन OPEC और रूस भी बुधवार को बैठक करेंगे। इस बैठक में उत्पादन बढ़ाने पर विचार होगा। ओपेक पिछले करीब एक साल से कम उत्पादन कर रहा है। इसकी मुख्य वजह कोविड की वजह से दुनिया में पेट्रोल और डीजल की कम मांग का होना था, लेकिन अब यूक्रेन पर रूस के हमले से हालात बिगड़ रहे हैं। रूस भी बड़ा तेल उत्पादक देश है। वो हर रोज 40-50 लाख बैरल कच्चे तेल का निर्यात करता है और इसके अलावा 20 से 30 लाख बैरल कच्चे तेल के अन्य उत्पादों का निर्यात भी करता है।

PM Narendra Modi

कच्चे तेल का उत्पादन कम होने की वजह से भारत जैसे देशों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। खुद पीएम नरेंद्र मोदी ने सोमवार को एक जनसभा में लोगों को बताया था कि सरकार देश के पेट्रोलियम उत्पादों की जरूरत का 80 फीसदी हिस्सा दूसरे देशों से खरीदती है। ऐसे में कच्चे तेल की कीमत के लगातार बढ़ने से आने वाले दिनों में हर जरूरी चीज की कीमत बढ़ने के आसार हैं।