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कोरोना से मौत के खतरे को कम कर देगी ये दवा, खोज में हुआ खुलासा…

वैश्विक महामारी कोरोनावायरस (Coronavirus) का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा है। वहीं अब तक हुए शोध से ये पता चला है कि कोरोनावायरस बुजुर्गों और पहले से किसी न किसी बीमारी से पीड़ित व्यक्तियों को जल्दी अपनी जद में ले लेता है।

नई दिल्ली। वैश्विक महामारी कोरोनावायरस (Coronavirus) का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा है। वहीं अब तक हुए शोध से ये पता चला है कि कोरोनावायरस बुजुर्गों और पहले से किसी न किसी बीमारी से पीड़ित व्यक्तियों को जल्दी अपनी जद में ले लेता है। इसमें डायबिटीज (Diabetes) से लेकर दिल के मरीज (Heart Patient) और ब्लड प्रेशर (Blood Pressure) के मरीज भी शामिल हैं। हालांकि कोरोनावायरस से मौत का खतरा कम करने के लिए कई तरह की दवाइयों का इस्तेमाल संक्रमित मरीजों पर किया जा रहा है। इसी कड़ी में अब ब्लड प्रेशर की एक दवा इसमें कारगर साबित हो रही है। दावा किया जा रहा है कि ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने वाली एक दवा के इस्तेमाल से कोरोना से मौत का खतरा एक तिहाई घट जाता है।

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दरअसल ये दावा इंग्लैंड की यूनिवर्सिटी ऑफ ईस्ट एंजलिया के शोधकर्ताओं ने किया है, जिन्होंने हाइपरटेंशन यानी उच्च रक्तचाप की दवा लेने वाले 28 हजार मरीजों पर अध्ययन किया। इस दवा का नाम एंजियोटेंसिन रिसेप्टर ब्लॉकर्स (Angiotensin Receptor Blockers) है। शोधकर्ताओं के मुताबिक, यह दवा लेने वाले मरीजों में कोरोना से मौत का खतरा एक तिहाई कम हो जाता है। अध्ययन में शामिल जो मरीज इस दवा का सेवन कर रहे थे, उनमें कोरोना से मौत का खतरा घट गया।

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शोधकर्ताओं का कहना है कि अध्ययन में शामिल मरीजों के कोरोना से गंभीर बीमार होने की आशंका कम पाई गई। साथ ही उनका ये भी कहना है कि फिलहाल उन्हें ये समझने की जरूरत है कि यह दवा कोरोना के खिलाफ कैसे काम करती है। शोधकर्ताओं ने बताया कि शुरुआत में यह देखा गया था कि कोरोना से गंभीर रूप से बीमार पड़ने का खतरा उन लोगों को अधिक है, जो दिल की बीमारी से जूझ रहे हैं। उस समय यह शक जताया गया था कि उच्च रक्तचाप की दवा का संबंध कोरोना से गंभीर रूप से बीमार पड़ने से हो सकता है। उन्होंने कहा कि इसी शक को दूर करने और कोरोना के मरीजों पर दवा के प्रभाव को समझने के लिए यह अध्ययन किया गया।

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शोधकर्ताओं ने जब कोरोना मरीजों पर ‘एंजियोटेंसिन रिसेप्टर ब्लॉकर्स’ दवा के इस्तेमाल का अध्ययन किया तो उससे चौंकाने वाले परिणाम सामने आए। शोधकर्ताओं को पता चला कि उच्च रक्तचाप की दवा कोरोना से संक्रमित मरीजों को गंभीर रूप से बीमार नहीं करती है बल्कि इससे तो उनकी मौत का खतरा ही कम हो जाता है।