नई दिल्ली। लोग क्या कहेंगे और क्या नहीं। इस बात की परवाह किए बैगर हर मसले पर अपनी बेबाक राय रखने वाले जावेद अख्तर ने जब फैब इंडिया के दीवाली वाले विज्ञापन जश्न-ए-रिवाज पर अपनी बेबाक राय रखी, तो लोगों ने उनकी जमकर क्लास लगा दी। उनकी बेबाकी का लोगों ने क्यों और कैसे जवाब दिया? आखिर जश्न-ए-रिवाज पर जावेद साहेब ने ऐसा क्या कह दिया था कि सोशल मीडिया की दुनिया में सक्रिय रहने वाले लोगों का पारा गया गरमा और लोगों ने लगा दी उनकी क्लास? हम आपको सब कुछ बताएंगे, लेकिन उससे पहले जरा जानते हैं कि आखिर फैब इंडिया का जश्न-ए-रिवाज वाला विज्ञापन क्या था, जिस पर जावेद अख्तर के बयान देने से लोगों का पारा गया गरमा। आइए, जानते हैं।
सबसे पहले तो आप यह जान लीजिए कि चाहे वो फैब इंडिया हो या कोई और कंपनी। हर कोई अपने उत्पाद के नए-नए नमूने लाकर ग्राहकों को अपनी ओर लुभाने का प्रयास करता है, ताकि अपनी आय बढ़ा सकें। कुछ ऐसी ही कोशिश दीवाली के नजदीक आते त्योहार को ध्यान में रखते हुए फैब इंडिया ने भी की थी। फैब इंडिया ने अपने कुछ पोशाक लॉन्च किए थे, जिसका नाम कंपनी ने दीवाली को ध्यान में रखते हुए जश्न-ए-रिवाज रखा था। लोगों को सब कुछ अच्छा लगा। लोगों को कंपनी के पोशाक अच्छे लगे। उपहार अच्छा लगा। लेकिन वो तीन शब्द कतई रास नहीं आए, जो कंपनी ने अपनी ब्रांडिंग के लिए इस्तेमाल किए थे और ये तीन शब्द जश्न-ए-रिवाज थे। जैसे ही सोशल मीडिया समेत अन्य मंचों पर लोगों को कंपनी के जश्न-ए-रिवाज के बारे में पता लगा, तो लोगों ने न महज कंपनी की क्लास लगा दी, बल्कि इनके उत्पादों के बहिष्कार की भी बात कही। जिसके बाद कंपनी ने इन तीन शब्दों को हटा दिया और हिंदी के शब्दों के प्रयोग की बात कही, जिसमें कंपनी ने कहा कि रोशनी के त्योहार पर लोगों को बड़ा तोहफा। लोगों ने कहा कि मेहरबानी करके हिंदू त्योहारों का अब्राहमीकरण न किया जाए। अब इसी मसले पर जावेद अख्तर ने बयान दिए हैं, जिसकी वजह से वे ट्रोल हो रहे हैं। आइए, जानते हैं कि आखिर उन्होंने इस मसले पर क्या कुछ कहा है।
क्या बोले जावेद अख्तर
जावेद अख्तर ने फैब इंडिया के जश्न-ए-रिवाज वाले पर विज्ञापन पर ट्वीट कर कहा कि मैं यह समझने में असफल रहा कि कुछ लोगों को फैबइंडिया के जश्न-ए-रिवाज से कोई समस्या क्यों है। जिसका अंग्रेजी में मतलब “परंपरा का उत्सव” के अलावा और कुछ नहीं है, इससे किसी को कैसे और क्यों समस्या हो सकती है। यह पागल है। बता दें कि वे अपने इस ट्वीट को लेकर लोगों के निशाने पर आ गए हैं। लोग उनकी जमकर क्लास लगाते हुए नजर आ रहे हैं। आइए, आपको दिखाते हैं कि लोगों ने उनके इस ट्वीट पर कैसे अपने रोष का इजहार किया।
I failed to understand why some people have any problem with FabIndia’s Jashn- e- Riwaj . Which in English means nothing but “ a celebration of tradition” how and why anybody can have problem with that . It is crazy .
— Javed Akhtar (@Javedakhtarjadu) October 28, 2021
यहां देखिए लोगों की प्रतिक्रिया
Not some people !!! But we the Majority population of Hindu’s and India .
It is our festival and nobody has right to rephrase it !!
If you have nuts then rephrase your festival first and then let’s talk !!!— Indian Armed Forces ?????? (@PanchavatiNasik) October 28, 2021
Change your son’s name to ‘Merry Akhtar’ because meaning of Farhan is Merry
— Mohit Gulati ?? (@desimojito) October 28, 2021