लगभग दो करोड़ की आबादी वाले इस राज्य में रायपुर के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एवं जगदलपुर के स्व. श्री बलीराम कश्यप स्मृति शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय में ही कोरोना वायरस के नमूनों की जांच की सुविधा है। यहां सोमवार तक 2303 संभावित व्यक्तियों की पहचान कर सैंपल की जांच की गई, अभी तक 2281 के परिणाम नेगेटिव प्राप्त हुए हैं तथा 12 की जांच जारी है।
राज्य के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने जांच केंद्रों की संख्या बढ़ाए जाने की मांग करते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा. हर्षवर्धन को पत्र लिखा था जिसमें नमूनों की जांच न हो पाने का भी जिक्र किया था इस पत्र में उन्होंने लिखा था कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीजों के नमूनों की छत्तीसगढ़ में समय से जांच नहीं हो पा रही है, क्योंकि यहां सिर्फ दो ही जांच केंद्र हैं।
मुख्यमंत्री बघेल ने केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री को पत्र लिखकर बताया था कि भारत सरकार द्वारा नोवेल कोरोना वायरस के संक्रमण को राष्ट्रीय आपदा घोषित किए जाने के साथ ही छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा इसे संपूर्ण राज्य में संक्रामक रोग घोषित किया गया है। रायपुर स्थित डा. भीमराव अंबेडकर स्मृति चिकित्सालय के माइक्रोबायोलजी विभाग में कोरोना वायरस की जांच के लिए सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध हैं। लिहाजा, इसे जांच के लिए अधिकृत किया जाए।
राज्य सरकार कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए जहां दूसरे प्रदेशों से आए लगभग 39 हजार लोगों को होम क्वारंटाइन किया है, वहीं 10 से ज्यादा मजदूरों को स्कूल और अन्य सरकारी भवनों में ठहराया गया है। जहां उनके रहने व खाने की पूरी व्यवस्था है। वहीं विदेशों से लौटे सभी लोगों की कोरोना टेस्ट की तैयारी है।