newsroompost
  • youtube
  • facebook
  • twitter

राजस्थान में सियासी जंग : पूरे देश में आज कांग्रेस का प्रदर्शन, लेकिन इस डर से नहीं करेगी राजभवन का घेराव

राजस्थान की लड़ाई को अब कांग्रेस ने राष्ट्रीय मुद्दा बना दिया है। आज पूरे देश में कांग्रेस राजभवन का घेराव करने जा रही है। राजस्थान की सियासत को लेकर अब कांग्रेस के निशाने पर केंद्र सरकार है।

नई दिल्ली। राजस्थान में कांग्रेस को अपनी सरकार बचाने के चक्कर में पसीने छूट रहे हैं। पहले तो सचिन पायलट की वजह से गहलोत की परेशानी बढ़ी थी, लेकिन बाद में राज्यपाल कलराज मिश्र और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बीच टकराव स्थिति ने मामले को और गंभीर कर दिया। इस बीच गहलोत ने खुले तौर पर कहा था कि, अगर राज्यपाल विधानसभा सत्र लाने की सहमति नहीं देते हैं तो राजभवन को जनता घेर लेगी। इसको लेकर गहलोत अपने विधायकों के साथ राजभवन के बाहर अपना विरोध दर्ज करवा चुके हैं।

ashok gahlot Rahul Gandhi

हालांकि मुख्यमंत्री बनाम राज्यपाल की लड़ाई के बीच सोमवार को पूरे देश में कांग्रेस प्रदर्शन करेगी, लेकिन राष्ट्रपति शासन लगने के डर से वो राजस्थान राजभवन का घेराव नहीं करेगी। कांग्रेस का मानना है कि इसको आधार बनाते हुए कहीं राष्ट्रपति शासन की सिफारिश ना हो जाए। सावधानी बरतते हुए यह तय हुआ है कि कोई भी राजभवन के आस-पास नहीं जाएगा।

gahlot

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा है कि विधानसभा सत्र बुलाने के लिए अभी तक राज्यपाल कलराज मिश्र कोई फैसला नहीं ले सके हैं। गौरतलब है कि राजस्थान की सियासत अब राज्यपाल कलराज मिश्र के इर्द गिर्द घूम रही है। सीएम गहलोत जहां विधानसभा सत्र बुलाने पर अड़े हुए हैं। वहीं राज्यपाल सत्र बुलाने के मूड में नजर नहीं आ रहे हैं।

Chief Minister Ashok Gehlot meets Governor Kalraj Mishra

राजस्थान की लड़ाई को अब कांग्रेस ने राष्ट्रीय मुद्दा बना दिया है। आज पूरे देश में कांग्रेस राजभवन का घेराव करने जा रही है। राजस्थान की सियासत को लेकर अब कांग्रेस के निशाने पर केंद्र सरकार है। हालांकि, कांग्रेस ने राजस्थान राजभवन के बाहर प्रदर्शन नहीं करने का प्लान बनाया है। कोई भी कांग्रेस कार्यकर्ता राजभवन के आस-पास नहीं जाएगा। दरअसल, राज्यपाल कलराज मिश्र भी कांग्रेस के हमले को लेकर एक्शन की तैयारी में हैं। कल राज्यपाल कलराज मिश्र ने आला अधिकारियों के साथ मामले को लेकर चर्चा की। इसके बाद सीएम अशोक गहलोत को डर सताने लगा कि कहीं राजभवन के बाहर प्रदर्शन के आधार पर राष्ट्रपति शासन की सिफारिश न हो जाए।