नई दिल्ली। बीते दिनों दिल्ली में स्थित एक रेस्टोरेंट में साड़ी पहनी महिला को एंट्री न दिए जाने का मामला सामने आया था जिसके बाद से ही सोशल मीडिया पर लोगों ने उस रेस्टोरेंट के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। ट्विटर पर यूजर्स रेस्टोरेंट को जीरो रेटिंस दे रहे थे साथ ही रेस्टोरेंट को लीगल एक्शन के लिए तैयार रहने की धमकी दे रहे थे। जिसके बाद अब एक बार फिर देश की राजधानी दिल्ली चर्चा में है। लेकिन इस बार चर्चा में रहने का कारण कोई रेस्टोरंट नहीं बल्कि एक सैलून है जिसे गलत तरीके से बाल काटना महंगा पड़ गया। बालों की गलत कटिंग के मामले पर अब उस सैलून को मुआवजे के तौर पर 2 करोड़ रुपये देने होंगे।
अब राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निस्तारण आयोग (NCDRC) ने सैलून (Salon) को पीड़ित महिला को 2 करोड़ मुआवजा (Compensation) देने का निर्देश दिया है। आयोग ने ये मुआवजा महिला के बाल गलत तरीके से काटने और गलत हेयर ट्रीटमेंट (Wrong Hair Treatment) देकर बालों को स्थाई नुकसान पहुंचाने के एवज में देने के लिए कहा है। न्यूज एजेंसी के मुताबिक, दिल्ली के एक होटल में स्थित इस सैलून में अप्रैल 2018 में आशना रॉय (Aashna Roy) अपने बालों के ट्रीटमेंट के लिए गई थीं। आशना ‘हेयर प्रोडक्ट’ की मॉडल थीं और उन्होंने कई बड़े ‘हेयर-केयर ब्रांड’ के लिए मॉडलिंग भी की थी लेकिन जब वो सैलून गई तो उनके बालों को गलत तरीके से काट दिया गया जिससे उन्हें अपने काम से हाथ धोना पड़ा साथ ही आर्थिक नुकसान भी झेलना पड़ी। इससे न सिर्फ मॉडल के रहन सहन में बदलाव आया बल्कि उसका टॉप मॉडल बनने का सपना भी टूट गया।
आशना रॉय का कहना है कि मैंने सैलून में साफ तौर पर बालों को आगे से लंबे ‘फ्लिक्स’ रखने और पीछे से बालों को चार इंच काटने को कहा था लेकिन हेयरड्रेसर ने उनकी न सुनकर अपनी मर्जी से महज चार इंच बाल छोड़कर उसके सारे लंबे बाल पूरी तरह से काट दिए। इस मामले में जब मॉडल ने मैनेजर से शिकायत की तो उन्होंने नि:शुल्क हेयर ट्रीटमेंट की पेशकश की। आशना ने दावा किया है कि गलत तरीके से बाल काटने के साथ ही केमिकल से उसके बालों को स्थाई नुकसान भी हुआ। जिसके बाद वो मामला लेकर राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निस्तारण आयोग पहुंची और तीन करोड़ रुपये मुआवजा दिलाने का अनुरोध किया। इसी मामले में अब आयोग ने आदेश देते हुए शिकायतकर्ता को दो करोड़ रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया है। आयोग ने मॉडल को ये राशि आठ सप्ताह (दो महीने) के अंदर देने के लिए कहा है।