नई दिल्ली। दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया अपने सरकारी स्कूलों और शिक्षा व्यवस्था का बखान करते नहीं थकते। दोनों दिल्ली के शिक्षा मॉडल को वर्ल्ड क्लास बताते हैं। यहां तक कि केजरीवाल ने तो सिसोदिया को दुनिया का सबसे अच्छा शिक्षा मंत्री तक घोषित कर रखा है, लेकिन दिल्ली के एक स्कूल में हुआ हादसा उनके इस दावे की पोल खोल रहा है। घटना 27 अगस्त की है। दिल्ली के नांगलोई में एक सरकारी स्कूल के क्लासरूम में अचानक पंखा खुलकर गिर गया। पंखा एक छात्रा के सिर पर गिरा। इससे वो घायल हो गई। छात्रा को एक निजी अस्पताल में दाखिल कराया गया। छात्रा का कहना है कि क्लास की छत से बारिश का पानी टपक रहा था। वहां छत खराब थी और इसी वजह से पंखा उस पर गिर गया।
नमी होने की वजह से छत के टूटने से पंखा गिरा और छात्रा घायल हो गई, लेकिन इस मामले में अब तक दिल्ली सरकार, मनीष सिसोदिया या स्कूल प्रबंधन की तरफ से कोई बयान तक जारी नहीं हुआ है। बीजेपी के नेता मनोज तिवारी और प्रवेश साहिब सिंह वर्मा ने इस मामले में केजरीवाल की आम आदमी पार्टी AAP सरकार को घेरा है। मनोज तिवारी ने आरोप लगाया है कि दिल्ली में सरकारी स्कूलों की संरचना कमजोर है और इससे बच्चों की जिंदगी खतरे में है। वहीं, प्रवेश साहिब सिंह ने एक वीडियो जारी किया है। इस वीडियो के जरिए उन्होंने आरोप लगाया है कि मामले को रफा-दफा करने के लिए स्कूल प्रबंधन और सरकार बच्ची के घरवालों पर दबाव डाल रहे हैं। वीडियो में बच्ची कहती दिख रही है कि हादसा किस तरह हुआ।
केजरीवाल के दावों में और हक़ीक़त में 19-20 का नहीं 0- 1000 का अंतर है । जिस दिन विज्ञापन ख़त्म उस दिन केजरीवाल ख़त्म। हमारा काम है जनता की आँखें खोलना। pic.twitter.com/Th3AiwsWTC
— Parvesh Sahib Singh (@p_sahibsingh) August 30, 2022
उधर, राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग NCPCR ने भी बीजेपी के एक नेता की शिकायत पर इस हादसे की रिपोर्ट दिल्ली सरकार से मांगी है। आयोग ने इस बारे में मंगलवार को केजरीवाल सरकार को चिट्ठी लिखी। आयोग ने 10 दिन के भीतर रिपोर्ट मांगी है कि आखिर ये हादसा किस वजह से हुआ और आगे से इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए दिल्ली सरकार क्या कदम उठा रही है।
बता दें कि दिल्ली की शिक्षा व्यवस्था के मसले पर बीजेपी लगातार केजरीवाल सरकार को घेरती है। केजरीवाल ने वादा किया था कि वो 500 नए सरकारी स्कूल बनवाएंगे, लेकिन ये वादा भी अधूरा होने की जानकारी एक आरटीआई से मिली थी। कल ही हमने आपको बताया था कि किस तरह एक आरटीआई से ये जानकारी भी सामने आई है कि दिल्ली के सरकारी सीनियर सेकेंड्री स्कूलों में से दो-तिहाई में साइंस विषय की पढ़ाई तक नहीं होती।