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Uttar Pradesh: योगी सरकार की कोशिश का नतीजा, देश का पहला राज्य बना यूपी जहां दोगुना किया गया मनरेगा का बजट

Uttar Pradesh: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने गांवों में ज्यादा से ज्यादा लोगों को रोजगार से जोड़ने के लिए बड़ी पहल की है। देश के इतिहास में उत्तरप्रदेश पहला ऐसा राज्य बना है, जिसने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) के सालाना बजट को करीब दोगुना कर दिया है। सीएम योगी ने मनरेगा के बजट को 85 सौ करोड़ सालाना से बढ़ाकर 15 हजार करोड़ करने के निर्देश दिए हैं। बढ़े बजट के नाते गांव-गांव में मनरेगा के तहत हर हाथ को काम मिलना तय है।

लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गांवों में ज्यादा से ज्यादा लोगों को रोजगार से जोड़ने के लिए बड़ी पहल की है। देश के इतिहास में उत्तरप्रदेश पहला ऐसा राज्य बना है, जिसने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) के सालाना बजट को करीब दोगुना कर दिया है। सीएम योगी ने मनरेगा के बजट को 85 सौ करोड़ सालाना से बढ़ाकर 15 हजार करोड़ करने के निर्देश दिए हैं। बढ़े बजट के नाते गांव-गांव में मनरेगा के तहत हर हाथ को काम मिलना तय है।

CM Yogi Adityanath

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर पिछले साल देश में सबसे ज्यादा मनरेगा में 85 लाख परिवारों के एक करोड़ चार लाख 70 हजार से ज्यादा श्रमिकों को काम दिया गया था, जो प्रदेश के इतिहास में रिकॉर्ड है। जबकि वर्ष 2019-2020 में 53.15 लाख परिवारों को काम मिला था। इसमें राज्य के 74 जिलों में मनरेगा में काम पाने वाले 32 लाख परिवार पिछले साल बढ़े हैं। यह इजाफा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नीति के चलते कोरोना काल के दौरान दूसरे राज्यों से आए प्रवासी श्रमिकों को मनरेगा में काम देने संबंधी आदेश से हुआ है।

Yogi Adityanath

मनरेगा में 100 दिन काम करने वाले 20 लाख से अधिक श्रमिकों का नए साल में श्रम विभाग में पंजीकरण कराने वाला देश का पहला राज्य भी बनने वाला है। सूबे के श्रम विभाग में पंजीकृत होने वाले श्रमिकों और उनके परिवार को 17 योजनाओं का लाभ मिलेगा। इससे सूबे के 20 लाख श्रमिकों के जीवन में बदलाव आएगा।

yogi

श्रम विभाग में पंजीकृत होने के बाद हर श्रमिक परिवार को श्रमिक मेधावी छात्र पुरस्कार योजना, शिशु हित लाभ योजना, निर्माण कामगार बालिका मदद योजना, भोजन सहायता योजना, चिकित्सा सुविधा योजना, कन्या विवाह योजना और आवास सहायता योजना सहित 17 योजनाओं का लाभ मिल सकेगा। विभाग ने 100 दिन काम करने वाले 20 लाख श्रमिकों को 31 मार्च तक श्रम विभाग में पंजीकृत कराने का लक्ष्य रखा है, जिसे तय समय में पूरा कर लिए जाएगा।