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Russia: अफगान शरणार्थियों पर राष्ट्रपति पुतिन का बड़ा बयान, कहा- ‘हम रूस में आतंकियों को नहीं चाहते…’

Russia: बीते हफ्ते समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने ये जानकारी दी थी कि अफगान शरणार्थियों को लेकर अमेरिका कई दूसरे देशों से बातचीत कर रहा है। अमेरिका इस कोशिश में है कि ये देश अफगान से लाए जा रहे शरणार्थियों को अपने यहां शरण दे। इसमें से अधिकतर लोग ऐसे हैं, जिन्होंने अफगानिस्तान में अमेरिकी सेना की किसी न किसी तरीके से सहायता की है।

नई दिल्ली। अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बीच ज्यादातर देश वहां की आवाम को बचाने के लिए पुरजोर कोशिश कर रहे हैं। हर दिन बड़ी संख्या में अफगान नागरिकों को भारत, अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा और दुनिया के बाकी देशों में शरण दी जा रही है। इस सब के बीच रूस (Russia)  के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने अफगान शरणार्थियों को आतंकी बताकर नया बवाल खड़ा कर दिया है। दरअसल, कुछ पश्चिमी देशों के अफगानिस्तान से शरणार्थियों को पड़ोसी मध्य एशियाई देशों में स्थानांतरित करने के विचार को खारिज करते हुए पुतिन ने कहा कि हम नहीं चाहते कि आतंकवादी यहां शरणार्थियों की आड़ में दिखें।

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शरणार्थियों को पड़ोसी मध्य एशियाई देशों में स्थानांतरित करने के विचार की आलोचना करते हुए पुतिन (Vladimir Putin) ने कहा, ‘हम नहीं चाहते कि अफगानिस्तान (Afghanistan) के आतंकी शरणार्थियों की आड़ में हमारे देश में घुसें. हम ये सब पहले भी झेल चुके हैं. इसलिए अब हम पुरानी बातों को दोहराना नहीं चाहते. हम पश्चिमी देशों के अपने सहयोगियों के साथ अफगानिस्तान में स्थिरता के लिए काम करेंगे लेकिन वहां के लोगों को अपने देश में शरण नहीं दे सकते.’

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बता दें, अफगानिस्तान में तालिबान के बढ़ते कहर के बीच वहां के लोगों को बचाने के लिए अमेरिका, भारत और ब्रिटेन में वीजा प्रकिया को तेज कर दिया गया है। हर दिन बड़ी संख्या में वहां से लोगों को निकालने का काम किया जा रहा है। अफगान नागरिक अमेरिका, ब्रिटेन, भारत, कनाडा और दुनिया के बाकी देशों में इस वक्त शरण ले रहे हैं।

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शरणार्थियों को लेकर कई देशों के संपर्क में अमेरिका

बीते हफ्ते समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने ये जानकारी दी थी कि अफगान शरणार्थियों को लेकर अमेरिका कई दूसरे देशों से बातचीत कर रहा है। अमेरिका इस कोशिश में है कि ये देश अफगान से लाए जा रहे शरणार्थियों को अपने यहां शरण दे। इसमें से अधिकतर लोग ऐसे हैं, जिन्होंने अफगानिस्तान में अमेरिकी सेना की किसी न किसी तरीके से सहायता की है। माना ये भी जा रहा है कि करीब 10 हजार अफगान शरणार्थियों को अमेरिका अपने यहां आसरा दे सकता है।