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Punjab: कांग्रेस आलाकमान के लिए दलित CM की इज्जत नहीं, पंजाब में चन्नी को सिद्धू के सामने पड़ा झुकना

कैप्टन अमरिंदर सिंह को हटाकर जब कांग्रेस ने चरणजीत सिंह चन्नी को पंजाब का सीएम बनाया था, तो राहुल गांधी समेत सारे नेता कह रहे थे कि उन्होंने चन्नी को ये पद देकर साबित कर दिया है कि दलितों का कितना सम्मान वो करते हैं। अब इन्हीं दलित सीएम चन्नी की इज्जत को कांग्रेस आलाकमान ने जमीन पर पटक दिया है।

चंडीगढ़। कैप्टन अमरिंदर सिंह को हटाकर जब कांग्रेस ने चरणजीत सिंह चन्नी को पंजाब का सीएम बनाया था, तो राहुल गांधी समेत सारे नेता कह रहे थे कि उन्होंने चन्नी को ये पद देकर साबित कर दिया है कि दलितों का कितना सम्मान वो करते हैं। अब इन्हीं दलित सीएम चन्नी की इज्जत को कांग्रेस आलाकमान ने जमीन पर पटक दिया है। गांधी परिवार ने ऐसा निर्देश भेजा कि अब चन्नी को पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू के सामने सिर झुकाना पड़ गया है। नवजोत सिंह सिद्धू ने पहले कैप्टन के खिलाफ मोर्चा खोला था। फिर चन्नी सरकार के खिलाफ भी अभियान छेड़ दिया था। सिद्धू चाहते थे कि चन्नी सरकार उनके निर्देश पर काम करे। अब ऐसा ही होने जा रहा है, क्योंकि कांग्रेस आलाकमान ने सिद्धू को चन्नी पर तरजीह दे दी है।

Charanjit-Singh-Channi

नतीजे में शनिवार को सीएम चरणजीत सिंह चन्नी ने मीडिया से कहा कि वो सिद्धू के साथ काम करने और पार्टी के लिए कोई भी त्याग करने के लिए तैयार हैं। सिद्धू की टिप्पणियों के बारे में चन्नी ने कहा कि मैं कांग्रेस का वफादार सिपाही हूं और पूरी ईमानदारी के साथ काम कर रहा हूं। उन्होंने कहा कि पहले भी मैं सिद्धू साहब के साथ काम कर रहा था और आगे भी करूंगा। पार्टी के लिए मैं कोई भी त्याग करने को तैयार हूं। कांग्रेस आलाकमान जो भी कहेगा, उसका पालन करूंगा। चन्नी के इसी बयान से साफ हो जाता है कि ऊपर से आए निर्देश का पालन करते हुए वो सिद्धू के सामने झुकने के लिए तैयार हुए हैं।

sidhu and channi

पंजाब में विधानसभा चुनाव होने हैं। कांग्रेस में इससे पहले ही टकराव हो रहा है। चन्नी और सिद्धू एक साथ नहीं दिखते। दोनों की रैलियां भी अलग-अलग होती रहीं। यहां तक कि सिद्धू ने बीते दिनों एक अखबार से इंटरव्यू में ये तक कहा कि जिस तरह मनमोहन सिंह पीएम रहते सोनिया गांधी की बात सुनते थे, उसी तरह चन्नी को भी मेरी बात सुननी चाहिए। चन्नी के कंधे पर एक बार हाथ रखकर सिद्धू आलोचना का सामना भी कर चुके हैं। तब कहा गया था कि सिद्धू ने सीएम पद का अपमान किया। बावजूद इन सबके सिद्धू लगातार चन्नी को झुकाने की कोशिश कर रहे थे। अब आलाकमान की मर्जी से उनकी ये इच्छा भी पूरी होती दिख रही है।