नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने कोरोनावायरस से निपटने में कारगर मानी जा रही मलेरिया की दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात से पूरी तरह रोक हटाने के प्रस्ताव को हरी झंडी दे दी है। केंद्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा ने यह जानकारी ट्विटर के जरिए दी है। गौड़ा ने बताया कि हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन के एपीआई यानी बल्क ड्रग और उसके फॉर्मूलेशन, दोनों के निर्यात से प्रतिबंध हटा लिया गया है।
केंद्रीय मंत्री सदानंद गौड़ा ने ट्वीट कर बताया, ‘एसईजेड/ईओयू इकाइयों के अलावा अन्य सभी मैन्युफैक्चरर्स को अपनी कुल आपूर्ति का कम से कम 20 फीसदी हिस्सा भारतीय बाजार में आपूर्ति करना होगा। DGFT से इस बारे में एक औपचारिक नोटिफिकेशन जारी करने को कहा गया है।’
Department of Pharmaceuticals has approved the lifting of ban on Export of Hydroxychloroquine API as well as formulations. Manufacturers except SEZ/EOU Units have to supply 20% production in the domestic market. DGFT has been asked to issue formal notification in this regard.
— Sadananda Gowda (@DVSadanandGowda) June 10, 2020
गौरतलब है कि इस दवा के कॉमर्शियल निर्यात पर केंद्र सरकार ने गत 25 मार्च को रोक लगा दी थी। हालांकि मानवीय आधार पर कई देशों को इसकी खेप भेजी गई। लेकिन इसका निर्यात निजी कंपनियों को नहीं सिर्फ सरकारों को किया जा रहा था।
कई देशों में हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन का इस्तेमाल कोविड-19 के मरीजों से निपटने में किया जा रहा है। इसके अलावा देश से फार्मा निर्यात को बढ़ाने के लिए भी गौड़ा ने फार्मा कंपनियों और अपने मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बात की है।