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UP: यूपी में 1 लाख का इनामी खनन माफिया जफर एनकाउंटर के बाद गिरफ्तार, उत्तराखंड में इसी की वजह से हुई थी फायरिंग

जफर को खनन के अवैध कारोबार का बड़ा खिलाड़ी कहा जाता है। उसका यूपी में बड़ा नेटवर्क है। वो कांकरखेड़ा का निवासी है। जफर ने दिल्ली की जामिया मिल्लिया यूनिवर्सिटी से पोस्ट ग्रेजुएशन किया है। पुलिस के मुताबिक वो कई साल पहले मुरादाबाद-ठाकुरद्वारा मार्ग पर अपने भाइयों के साथ सीमेंट और बजरी वगैरा की दुकान करता था।

मुरादाबाद। यूपी की मुरादाबाद पुलिस ने एक एनकाउंटर के बाद भगोड़े खनन माफिया और 1 लाख के इनामी जफर को गिरफ्तार कर लिया है। एनकाउंटर में जफर के पैर में गोली लगी है। मुरादाबाद के पकवाड़ा इलाके से जफर पकड़ा गया। जफर की ही तलाश में मुरादाबाद पुलिस की टीम पीछा करते हुए उत्तराखंड के काशीपुर में दाखिल हुई थी। जहां फायरिंग में एक महिला की मौत और 3 पुलिसकर्मियों के घायल होने की घटना के बाद यूपी और उत्तराखंड पुलिस के बीच तनातनी हो गई थी। जफर को गिरफ्तार करने के लिए कई टीमें लगाई गई थीं। आज हुई मुठभेड़ में एक सिपाही भी घायल हुआ है।

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जफर को खनन के अवैध कारोबार का बड़ा खिलाड़ी कहा जाता है। उसका यूपी में बड़ा नेटवर्क है। वो कांकरखेड़ा का निवासी है। जफर ने दिल्ली की जामिया मिल्लिया यूनिवर्सिटी से पोस्ट ग्रेजुएशन किया है। पुलिस के मुताबिक वो कई साल पहले मुरादाबाद-ठाकुरद्वारा मार्ग पर अपने भाइयों के साथ सीमेंट और बजरी वगैरा की दुकान करता था। उसी दौरान खनन माफिया से संपर्क में आया था। इसमें प्रॉफिट देखते हुए अवैध खनन करवाने लगा। अवैध खनन से जफर ने काफी संपत्ति भी बनाई है। पुलिस के मुताबिक जफर के हौसले इतने बुलंद थे खि अवैध खनन के लिए उसने खुद के डंपर खरीदे। अभी उसके पास 15 से ज्यादा डंपर हैं।

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उसपर साल 2005 में स्थानीय एसडीएम और खनन अफसर से मारपीट का भी आरोप लगा था। उसने एसडीएम को बंधक बनाकर खनन में पकड़ी गई गाड़ी तक छुड़ा ली थी। इसमें उसका भाई नबी मोहम्मद भी शामिल था। नबी पर भी 50 हजार का इनाम रखा गया था। उसे कुछ दिन पहले ही पुलिस ने गिरफ्तार किया है। ठाकुरद्वारा थाने में जफर पर 2 केस भी हैं। काफी समय से मुरादाबाद पुलिस को जफर की तलाश थी। अब वो पुलिस के हत्थे चढ़ा है।