नई दिल्ली। राजेंद्र सिंह गुढ़ा को विधानसभा में अपनी सरकार के खिलाफ बोलने की भारी कीमत चुकानी पड़ी है। दरअसल, उन्हें पद से बर्खास्त कर दिया गया है। उन्हें बर्खास्त करने की सिफारिश राज्यपाल ने विधानसभा अध्य़क्ष को भेजी थी। जिसके बाद उन्हें पद से बर्खास्त कर दिया गया था। वो गहलोत सरकार में सैनिक कल्याण (आईसी) होम गार्ड और नागरिक मंत्री थे। लेकिन, अपनी ही सरकार के खिलाफ बयानबाजी करने की भारी कीमत उन्हें पद से हाथ धोकर चुकानी पड़ी है। आइए, आगे जानते हैं कि पूरा माजरा क्या है।
जानें पूरा माजरा
दरअसल, आज विधानसभा में राजेंद्र गुढ़ा ने कहा कि हमें मणिपुर पर बहस करने की जगह अपनी गिरेबान में झांकना चाहिए। हमें यह देखना चाहिए कि हमारे प्रदेश में महिलाओं की स्थिति कैसी है। इस दौरान उन्होंने महिलाओं के साथ हो रहे कुकृत्यों का भी हवाला दिया। उनके इस बयान पर जहां विधानसभा में मौजूद कांग्रेस नेताओं ने आपत्ति जताई, तो वहीं बीजेपी ने मेज थपथपा कर अपनी सहमति प्रकट की।
कांग्रेस सरकार के मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने राजस्थान की बहन बेटियों पर अत्याचार की सच्चाई बताई , कहा की मणिपुर मत देखो , राजस्थान के हालात देखो
राहुल गाँधी के निर्देश पर अशोक गहलोत ने किया गुढ़ा को बर्खास्त pic.twitter.com/nPxiyNMWmq
— Laxmikant bhardwaj (@lkantbhardwaj) July 21, 2023
हालांकि, यह कोई पहली मर्तबा नहीं है कि जब राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने गहलोत सरकार को सवालों के कठघरे में खड़ा किया हो, बल्कि इससे पहले भी वो कई मौके पर अपनी सरकार के खिलाफ बयानबाजी कर चुके हैं, लेकिन इस बार उन्होंने विधानसभा में गहलोत सरकार के खिलाफ वक्तव्य दे दिया, जिसे पार्टी की अनुशासन समिति ने संज्ञान में लेने के बाद उन्हें बर्खास्त कर दिया। उधर, इस पूरे मामले पर बीजेपी की भी प्रतिक्रिया सामने आई है। आइए, आगे जानते हैं कि बीजेपी की क्या प्रतिक्रिया है।
बीजेपी ने गहलोत सरकार पर साधा निशाना
उधर, बीजेपी ने इस मामले पर गहलोत सरकार पर निशाना साधा है। बीजेपी नेता लक्ष्मीकांत भारद्वांज ने ट्वीट कर कहा कि, ‘ कांग्रेस सरकार के मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने राजस्थान की बहन बेटियों पर अत्याचार की सच्चाई बताई , कहा की मणिपुर मत देखो , राजस्थान के हालात देखो राहुल गाँधी के निर्देश पर अशोक गहलोत ने किया गुढ़ा को बर्खास्त ।