नई दिल्ली। कांग्रेस नेता राहुल गांधी भारत जोड़ो यात्रा का दूसरा चरण दिसंबर माह से शुरू करने जा रहे हैं। कर्नाटक विधानसभा चुनाव में मिली सफलता से उत्साहित राहुल ने भारत जोड़ो यात्रा का दूसरा चरण शुरू करने का फैसला किया है। बता दें कि कर्नाटक चुनाव में कांग्रेस ने जीत का पताका फहराया था। बीजेपी की सभी रणनीतियों को ध्वस्त कर कांग्रेस ने कर्नाटक में अपना सियासी दुर्ग स्थापित किया था, जिसका भरपूर श्रेय राहुल की भारत जो़ड़ो यात्रा को मिला था। सनद रहे कि 2022 के सितंबर माह से लेकर दिसंबर तक राहुल ने भारत जोड़ो यात्रा की थी। अपनी यात्रा के अंतर्गत उन्होंने कन्याकुमारी से लेकर कश्मीर तक का सफर तय किया था और इस दौरान कई लोगों से मुखातिब हुए थे। उनकी समस्याओं को सुना था और यह आश्वासन भी दिया था कि अगर उनकी पार्टी सत्ता में आती है, तो वो इन सभी समस्याओं का निवारण करेंगे। राहुल ने भारत जोड़ो यात्रा का पहला चरण कन्याकुमारी से शुरू करके इसे कश्मीर में लाल चौक पर तिरंगा फहराकर विराम दिया था, जिससे उन्हें सियासी मोर्चे पर बड़ी सफलता मिली थी।
वहीं, अब जब वर्तमान में पांचों राज्यों के विधानसभा चुनाव चल रहे है और अगले वर्ष लोकसभा चुनाव होने हैं, तो ऐसे में राहुल भारत जोड़ो यात्रा का दूसरा चरण शुरू करके कोई बड़ा सियासी दांव तो नहीं चलना चाहते हैं और इससे भी अहम बात यह दांव सफल साबित हो पाएगा। यह तो फिलहाल कह पाना मुश्किल है, लेकिन उससे पहले आप यह जान लीजिए कि राहुल की भारत जोड़ों यात्रा का दूसरा चरण दिसंबर माह से लेकर फरवरी तक चलेगा। जिसमें वो कई राज्यों का दौरा करेंगे और आम जनता के बीच संपर्क स्थापित कर पार्टी के पक्ष में सियासी बयार बहाने की कोशिश करेंगे। कांग्रेस सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, भारत जोड़ो यात्रा के दूसरे चरण की पूरी रूपरेखा तैयार कर ली गई है, जिसे आगामी दिनों में जीवंत करने की दिशा में कदम उठाए जाएंगे।
सनद रहे कि राहुल गांधी वर्तमान में तीन दिवसीय केदारनाथ यात्रा पर हैं। हालांकि, कांग्रेस ने काफी पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि यह उनका निजी दौरा है, तो फिलहाल पार्टी के किसी भी नेता को राहुल से मिलने की इजाजत नहीं दी गई है। वहीं, केदारनाथ यात्रा के बाद राहुल बुधवार को छत्तीसगढ़ के अंबिकापुर में होंगे। इसके बाद वो मध्य प्रदेश के जबलपुर जाएंगे। इसके बाद वो सपना और भोपाल का रूख करेंगे। इन सभी जगहों पर कांग्रेस नेता विशाल जनसभा को संबोधित कर आगामी लोकसभा चुनाव से पूर्व पार्टी के पक्ष में सियासी माहौल बनाने की कोशिश करेंगे।
वहीं, सियासी विश्लेषकों की मानें, तो राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा ने कांग्रेस को सियासी मोर्चे पर मजबूत करने का काम किया है। शायद यह इसी मजबूती का नतीजा है कि कांग्रेस ने कर्नाटक में चुनाव जीत का परचम फहराया था। इस बीच राहुल को उम्मीद है कि अगर आगामी लोकसभा चुनाव से पूर्व भारत जोड़ो यात्रा की जाए, तो इससे पार्टी को मजबूती मिल सकती है, जो कि हमारे लिए सियासी मोर्चे पर हितकारी साबित होगी।