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चीन को अपनी हरकत से बाज आने की मिली चेतावनी, भारत के समर्थन में आए ब्रिटेन और अमेरिका

ब्रिटेन में लेबर पार्टी के सांसद स्टीफन किन्नॉक ने भी अपने लोगों और पड़ोसी देशों के प्रति चीन के व्यवहार को लेकर मंत्री पर दबाव डाला। एडम्स ने अपने जवाब में कहा कि ब्रिटेन इन मुद्दों पर “बहुत सक्रिय” रहा है और द्विपक्षीय रूप से तथा संयुक्त राष्ट्र में सभी चिंताओं को उठाने में अग्रणी भूमिका निभाई है।

नई दिल्ली। भारत-चीन सीमा विवाद के बीच अब चीन की परेशानियां बढ़ती जा रही हैं। पहले अमेरिका और अब फिर ब्रिटेन का भी भारत को साथ मिल गया है। बता दें कि इस तनाव के बीच अमेरिका और ब्रिटेन ने भारत के प्रति एकजुटता जाहिर की है। ब्रिटेन ने जहां चीन के व्यवहार को धौंस वाला बताया है वहीं अमेरिका ने कहा है कि बीजिंग को हद में रहना चाहिए।

ब्रिटिश सांसदों ने भारत के साथ सीमा विवाद में चीन के “धौंस भरे व्यवहार” और कोविड-19 की देर से घोषणा किए जाने पर पर संसद में चिंता जताई है। इसके साथ ही सांसदों ने चीन पर ब्रिटेन की निर्भरता की आंतरिक समीक्षा किए जाने का आग्रह किया। शिनजियांग प्रांत में उइगर मुसलमानों के साथ हो रहे व्यवहार को लेकर कंजर्वेटिव पार्टी के सांसद इयान डंकन स्मिथ ने सोमवार शाम को हाउस ऑफ कॉमन्स में जरूरी विषय के रूप में ये मुद्दा उठाया।

स्मिथ ने सवाल किया कि मानवाधिकारों पर चीनी सरकार के भयावह रिकॉर्ड, हांगकांग में स्वतंत्रता पर हमला, दक्षिण चीन सागर से भारत तक के सीमा विवादों में उसका धौंस भरा व्यवहार, मुक्त बाजार को संचालित करने वाले नियमों की अवहेलना, कोविड-19 की देर से घोषणा आदि को देखते हुए क्या सरकार अब चीन पर ब्रिटेन की निर्भरता की आंतरिक समीक्षा शुरू करेगी।

Ind America China

ब्रिटेन में लेबर पार्टी के सांसद स्टीफन किन्नॉक ने भी अपने लोगों और पड़ोसी देशों के प्रति चीन के व्यवहार को लेकर मंत्री पर दबाव डाला। एडम्स ने अपने जवाब में कहा कि ब्रिटेन इन मुद्दों पर “बहुत सक्रिय” रहा है और द्विपक्षीय रूप से तथा संयुक्त राष्ट्र में सभी चिंताओं को उठाने में अग्रणी भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि शिनजियांग प्रांत में सक्रिय ब्रिटिश कंपनियों को उचित ध्यान देने को कहा गया है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि उनकी आपूर्ति श्रृंखला में मानवाधिकारों का उल्लंघन नहीं होना चाहिए।

भारत और चीन के बीच हुई हिंसक झड़प को लेकर अमेरिका के एक शीर्ष सीनेटर ने भारत के लोगों के साथ एकजुटता दिखाई और कहा कि भारत ने यह स्पष्ट कर दिया है कि वह बीजिंग से डरेगा नहीं। रिपब्लिकन सीनेटर मार्को रुबियो ने अमेरिका में भारत के राजदूत तरणजीत सिंह संधू से बात की और चीन के साथ हुई हिंसक झड़प के मामले में भाारत के लोगों के प्रति एकजुटता व्यक्त की।

Boris Johnson and Narendra Modi

फ्लोरिडा के सीनेटर ने इस मामले में ट्वीट किया, ‘भारत ने यह स्पष्ट कर दिया है कि वह बीजिंग से डरेगा नहीं।’ वहीं सीनेट में बहुमत के नेता मिच मैक्कोनेल ने एक हफ्ते से भी कम समय में दूसरी बार चीन पर आरोप लगाया कि उसने भारत के खिलाफ आक्रामकता की है। इससे पहले सीनेटर टॉम कॉटन ने भी भारत के खिलाफ हिंसक रवैये को लेकर चीन की निंदा की थी। शीर्ष रिपब्लिकन सीनेटर ने कहा था कि चीन ने जापानी क्षेत्रों में अपनी पनडुब्बी घुसपैठ और भारत के साथ उच्च स्तर पर हिंसक झगड़ों को फिर से शुरू कर दिया है।